अनुराग श्रीवास्तव/यूपी हेड
हिन्दी - संवाद (दिल से हिन्दी)
अंबेडकरनगर। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के निर्देश पर समाजवादी बाबा साहब अंबेडकर वाहिनी के पदाधिकारियों ने शुक्रवार को अंबेडकरनगर कलेक्ट्रेट स्थित बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा के समक्ष एकत्र होकर जिला अधिकारी के माध्यम से महामहिम राष्ट्रपति को ज्ञापन सौंपा।
ज्ञापन में बताया गया कि दिनांक 26 मार्च 2025 को करणी सेना के पदाधिकारियों ने पुलिस बल की मौजूदगी में राज्यसभा सांसद रामजीलाल सुमन के आगरा स्थित आवास पर हमला कर तोड़फोड़ की। इस दौरान उनकी गाड़ियों को क्षतिग्रस्त किया गया, परिवार के सदस्यों को भद्दी गालियां दी गईं और जान से मारने की धमकी तक दी गई। इस घटना को लेकर समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं में भारी आक्रोश है।
ज्ञापन के माध्यम से कार्यकर्ताओं ने उत्तर प्रदेश में दलितों, पिछड़ों, अल्पसंख्यकों और महिलाओं पर हो रहे अत्याचारों को रोकने के लिए सख्त कदम उठाने की मांग की। साथ ही, सांसद रामजीलाल सुमन की सुरक्षा बढ़ाने और इस घटना में शामिल दोषियों पर कठोर कार्रवाई करने की मांग की गई। कार्यकर्ताओं ने चेतावनी दी कि यदि हिंसक तत्वों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई नहीं की गई, तो समाजवादी बाबा साहब अंबेडकर वाहिनी और समाजवादी पार्टी के निर्देशानुसार पूरे प्रदेश में व्यापक आंदोलन छेड़ा जाएगा।
इस मौके पर समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय सचिव एवं पूर्व सांसद, आलापुर विधायक त्रिभुवन दत्त उपस्थित रहे। उनके साथ समाजवादी बाबा साहब अंबेडकर वाहिनी के राष्ट्रीय सचिव अजय गौतम एडवोकेट, सूर्या पासवान, लोहिया वाहिनी जिला अध्यक्ष नरेंद्र यादव, यूथ ब्रिगेड जिलाध्यक्ष अकीत वर्मा, युवजन सभा जिलाध्यक्ष कपिलदेव राजभर, प्रदेश सचिव रामवचन गौतम, धर्मदेव बहल, सपा नेता रामअचल गौतम, बृजेश यादव, अनिल पहलवान, संजय गौतम, अखिलेश गौतम, उत्कर्ष गौतम, अंकित कुमार, रविशंकर प्रसाद, शहलाद गौतम, देवमणि यादव, उमेश गौतम, धर्मेंद्र कुमार, विकास कुमार, नितेश कुमार, अवधेश कुमार, रामजीत सुमन सहित बड़ी संख्या में कार्यकर्ता उपस्थित रहे।
महिला कार्यकर्ताओं में पिंकी गौतम, रेखा, बासमती, डिंपल, सविता, रोली, फूलमती, सुमित्रा, कुसुम, कमला, उमा, संजना देवी सहित अन्य कार्यकर्ताओं ने भी अपनी सक्रिय भागीदारी निभाई।
समाजवादी पार्टी ने दोहराया कि पार्टी सदैव दलितों, पिछड़ों, अल्पसंख्यकों और महिलाओं की सुरक्षा और सम्मान के लिए संघर्षरत रहेगी तथा यदि सरकार उचित कदम नहीं उठाती है तो जल्द ही बड़े स्तर पर आंदोलन किया जाएगा।
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