उतरौला बलरामपुर शासन प्रशासन की लापरवाही के चलते नगर इस समय अति क्रमण के जाल में बुरी तरह से फंस चुका है। नगर के मुख्य बाजार से लेकर महत्वपूर्ण मार्गों पर हर जगह अति क्रमणकारियों ने सड़क और पटरियों पर अपना कब्जा जमा लिया है। यह अतिक्रमण न केवल यातायात को प्रभावित कर रहा है, बल्कि पैदल चलने वाले राहगीरों के लिए भी परेशानी का सबब बन चुका है। सब्जी मंडी से लेकर मुख्य बाजार,बरदही बाजार, और श्यामा प्रसाद मुखर्जी चौराहे सहित नगर के विभिन्न हिस्सों में अतिक्रमण कीस्थिति गंभीर हो चुकी है। जहां एक ओर स्थानीय दुकानदारों ने मुख्य बाजार की पटरियों पर अपना कब्जा कर रखा है, वहीं दूसरी ओर ठेले-खोमचे वालों ने उतरौला-बलरामपुर मार्ग,उतरौला-मनकापुर मार्ग और उतरौला- डुमरियागंज मार्ग पर पूरी तरह से अपना कब्जा जमा लिया है।  
अतिक्रमण के कारण वाहनों के लिए सड़क की जगह बहुत सीमित हो गई है। इसके अलावा,पैदल चलने वालों को भी सड़कों पर चलने के लिए मजबूर होना पड़ता है, जिससे हादसों का खतरा बढ़ गया है। खासकर श्यामा प्रसाद मुखर्जी चौराहा,साटन रोड तिराहा पर हर 5 से 10 मिनट में जाम की स्थिति बन जाती है, जिससे राहगीरों और वाहन चालकों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है।   
आटो रिक्शा चालक भी जाम की स्थिति को और बढ़ा रहे हैं। बे तरतीब ढंग से चलने वाले ये आटो रिक्शा चालक जहां मन करते हैं, वहां अपने वाहन रोककर सवारियों को उतारने और बैठाने का कार्य करते हैं, जिससे जाम की स्थिति और भी विकट हो जाती है।   
अतिक्रमण हटाने के लिए नगर पालिका परिषद उतरौला ने कई बार प्रयास किए हैं। ध्वनि विस्तारक यंत्रों के माध्यम से नगर में प्रचार प्रसार भी किया गया, ताकि लोग अतिक्रमण हटाने के लिए जागरूक हो सकें। हालांकि इन प्रयासों का प्रभाव बहुत ही सीमित रहा है और अतिक्रमण पूरी तरह से समाप्त नहीं हो सका।  
 नगर पालिका के द्वारा अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई केवल दुकानदारों तक सीमित रही है,जब कि ठेले-खोमचे वाले और अन्यअतिक्रमणकारियों के खिलाफ कोई ठोस कार्रवाई भी नहीं की गई है।स्थानीय निवासि यों और व्यापारी समुदाय का मानना है कि नगर में अतिक्रमण की समस्या का समा धान समय रहते नहीं किया गया, तो यह और अधिक गंभीर हो सकती है। इसके लिए नगर पालिका को ठोस और प्रभावी कदम उठाने होंगे,जिसमें अति क्रमणकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई और सार्वजनिक स्थानों पर व्यापार के लिए वैकल्पिक समाधान उपलब्ध कराना शामिल है।उतरौला बाजार में अतिक्रमण की समस्या दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है, जो न केवल यातायात की स्थिति को प्रभावित कर रही है, बल्कि आम नागरिकों के लिए भी असुविधा जनक बन रही है। अगर प्रशासन ने समय रहते इस पर ठोस कदम नहीं उठाए, तो इससे भविष्य में और भी बड़ी समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं।

          हिन्दी संवाद न्यूज से
         असगर अली की खबर
          उतरौला बलरामपुर। 

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