केन्द्रीय रक्षा मंत्री एवं मुख्यमंत्री स्व0 श्री आशुतोष टण्डन ‘गोपाल जी’ की प्रथम पुण्यतिथि के अवसर पर ‘राजनीति में शालीनता, शुचिता एवं सेवा’ विषयक परिचर्चा में सम्मिलित हुए
केन्द्रीय रक्षा मंत्री तथा मुख्यमंत्री ने स्व0 श्री आशुतोष टण्डन ‘गोपाल जी’ के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी
स्व0 श्री आशुतोष टण्डन में लोगों के साथ अपनेपन का रिश्ता बना लेने की एक अद्भुत कला थी : केन्द्रीय रक्षा मंत्री
जिन लोगों के साथ गोपाल जी का रिश्ता रहा, उनके स्मृति पटल पर श्री आशुतोष टण्डन जी की मुस्कुराहट, उनकी सदाशयता, उनके अपनत्व का व्यवहार सदैव अंकित रहेगा
श्री लालजी टण्डन और श्री गोपाल जी ने पूर्व प्रधानमंत्री श्री अटल बिहारी वाजपेयी जी के जीवन मूल्यों एवं सिद्धान्तों को पूरी शिद्दत के साथ जीने का कार्य किया
लखनऊ के सामाजिक और राजनीतिक क्षेत्र के लिए श्रद्धेय लालजी टण्डन जी और स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी का असमय जाना अपूरणीय क्षति : मुख्यमंत्री
स्व0 श्री आशुतोष टण्डन की कार्यपद्धति आज की पीढ़ी द्वारा अपना ली जाए, तो हम प्रधानमंत्री जी के वर्ष 2047 तक भारत को दुनिया में विकसित भारत के रूप में स्थापित करने के विजन को साकार करने में सफल हो सकते
प्रधानमंत्री जी के विजन और रक्षा मंत्री के अभियान को धरातल पर उतारने के लिए लखनऊ के चिकित्सा संस्थानों, एस0जी0पी0जी0आई0, आर0एम0एल0, के0जी0एम0यू0 सहित स्थानीय चिकित्सालयों के विकास के लिए स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी ने पूरे समर्पण के साथ कार्य किया
प्रदेश में नगर विकास मंत्री का दायित्व मिलने के बाद स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी ने स्मार्ट सिटी मिशन को आगे बढ़ाने के साथ ही, विभिन्न अन्य कार्यक्रमों को साकार करने में भूमिका निभायी
लालजी टण्डन फाउण्डेशन द्वारा स्व0 श्री लालजी टण्डन एवं स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी की स्मृतियों को जीवन्त बनाने वाले ऐसे ही अलग-अलग प्रकार के रचनात्मक कार्यक्रम निरन्तर आयोजित किए जाने चाहिए
लखनऊ : 09 नवम्बर, 2024
केन्द्रीय रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह एवं उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी आज यहां इन्दिरा गांधी प्रतिष्ठान में स्व0 श्री आशुतोष टण्डन ‘गोपाल जी’ की प्रथम पुण्यतिथि के अवसर पर ‘राजनीति में शालीनता, शुचिता एवं सेवा’ विषयक परिचर्चा में सम्मिलित हुए। कार्यक्रम के दौरान केन्द्रीय रक्षा मंत्री तथा मुख्यमंत्री जी ने स्व0 श्री आशुतोष टण्डन ‘गोपाल जी’ के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी।
इस अवसर पर केन्द्रीय रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह ने स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी को नमन करते हुए कहा कि आज हम सभी उनकी प्रथम पुण्यतिथि के अवसर पर यहां उपस्थित हुए हैं। मुख्यमंत्री जी ने स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी की स्मृतियां से आपको अवगत कराया है। स्व0 लालजी टण्डन जी से मेरा गहरा रिश्ता था। उनसे बातचीत एवं हंसी-मजाक होती रहती थी। गोपाल जी हमेशा मेरा लिहाज करते थे। गोपाल जी जब कभी आते थे, उनका मुस्कुराता चेहरा होता था। उनके मुस्कुराते चेहरे को देखकर व्यक्ति के अन्दर अनुकूल संवेदना पैदा होती थी। यह मुझे भी अच्छा लगता था। वह बहुत संकोची स्वभाव के थे। उनमें लोगों के साथ अपनेपन का रिश्ता बना लेने की एक अद्भुत कला थी। उसका भी मैं प्रशंसक था।
केन्द्रीय रक्षा मंत्री ने कहा कि इस पूरी सृष्टि में सभी चीजें पूर्व निर्धारित होती हैं। हमें प्रयत्न करना है, यह भी पूर्व निर्धारित होता है। इस सृष्टि में जो आया है, सभी को जाना है। जो कल थे, आज नहीं हैं। जो आज हैं, कल नहीं रहेंगे। लेकिन हम हैं और हम ही रहेंगे, यह भ्रम पलता रहेगा। परन्तु उन्नत सोच के लोग बहुत शीघ्र ही इस भ्रम का निराकरण कर लेते हैं।
केन्द्रीय रक्षा मंत्री ने कहा कि गोपाल जी छोटी आयु में चले गए। जिन लोगों के साथ गोपाल जी का रिश्ता रहा है, उनके स्मृति पटल पर श्री आशुतोष टण्डन जी की मुस्कुराहट, उनकी सदाशयता, उनके अपनत्व का व्यवहार सदैव अंकित रहेगा। गोपाल जी सक्रिय राजनीति में रहे, लेकिन उन्होंने अपनी सक्रियता का कभी एहसास नहीं कराया। श्री लालजी टण्डन और श्री गोपाल जी ने पूर्व प्रधानमंत्री श्री अटल बिहारी वाजपेयी जी के जीवन मूल्यों एवं सिद्धान्तों को पूरी शिद्दत के साथ जीने का कार्य किया था। यह बड़े मन के लोग थे। अटल जी ने कहा है कि छोटे मन से कोई बड़ा नहीं हो सकता, टूटे मन से कोई खड़ा नहीं हो सकता। इस तरह जीवन जीने वाले लाल जी टण्डन एवं गोपाल जी दोनों थे।
केन्द्रीय रक्षा मंत्री ने कहा कि स्व0 श्री आशुतोष टण्डन ‘गोपाल जी’ को लखनऊ वालों ने अपने परिवार का सदस्य माना। उन्होंने भी लखनऊ वालों को अपने परिवार का सदस्य माना था। पुराने एवं नये लखनऊ के लोग गोपाल जी से प्यार करते हैं। लालजी जी टण्डन ने लखनऊ के चौक में निर्माण कार्य कराया था, जिसकी खूबसूरती आज भी देखने लायक है। उनमें दृढ़ इच्छा शक्ति थी। अब वह हमारे बीच नहीं हैं। अमित टण्डन, फाउण्डेशन बनाकर कार्य कर रहे हैं। हम लोग भी इसमें सहयोग करेंगे। इस फाउण्डेशन को सही तरीके से चलाते हुए लखनऊ के पीड़ित, शोषित एवं पिछड़े क्षेत्रों के विकास कार्य में भागीदार होते हुए कार्य करें, यही उन दोनों लिए सच्ची श्रद्धांजलि है।
कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि स्व0 श्री आशुतोष टण्डन ‘गोपाल जी’ की प्रथम पुण्यतिथि है। वास्तव में, लखनऊ के सामाजिक और राजनीतिक क्षेत्र के लिए श्रद्धेय लालजी टण्डन जी और स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी का असमय जाना अपूरणीय क्षति है। उन्होंने कहा कि हम सबकी एक सीमा है। जन्म सच्चाई है, तो मृत्यु भी सच्चाई है। जीवन के इस सत्य को हर व्यक्ति को स्वीकार करना पड़ता है। जन्म और मृत्यु की सच्चाई को समझ जाने पर हम सम्भवतः हमेशा अपने चेहरे पर वह खुशहाली लाने में सफल हो सकते हैं, जिसके लिए स्व0 श्री आशुतोष टण्डन ‘गोपाल जी’ जाने जाते थे।
स्व0 श्री आशुतोष टण्डन ‘गोपाल जी’ की स्मृतियों को नमन करते हुए मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वे अत्यन्त शालीनता के साथ बिना किसी हो-हल्ले के कार्य करते थे। स्व0 श्री आशुतोष टण्डन की कार्यपद्धति आज की पीढ़ी द्वारा अपना ली जाए, तो हम प्रधानमंत्री जी के वर्ष 2047 तक भारत को दुनिया में विकसित भारत के रूप में स्थापित करने के विजन को साकार करने में सफल हो सकते हैं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी से मेरा परिचय उनके पिता स्व0 श्री लालजी टण्डन ने गोरखपुर में कराया था। उस समय वे भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश मंत्री का दायित्व सम्भाल रहे थे। हमारी घनिष्ठता उनके लखनऊ पूर्व विधान सभा क्षेत्र के उपचुनाव में प्रत्याशी बनने के साथ बढ़ी। उस समय प्रशासन की नाकेबन्दी के बावजूद उनके आग्रह पर मैं एक दूसरा रास्ता लेकर उनकी एक सभा में सम्मिलित हुआ। गोपाल जी वह चुनाव जीतकर विधायक के रूप में आगे बढ़े।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्ष 2017 में मेरे उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में दायित्व सम्भालने के बाद गोपाल जी चिकित्सा शिक्षा और प्राविधिक शिक्षा विभाग के मंत्री बने। उन्होंने पूरी तन्मयता से कार्य किया। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के विजन और रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह जी के अभियान को धरातल पर उतारने के लिए लखनऊ के चिकित्सा संस्थानों, एस0जी0पी0जी0आई0, आर0एम0एल0, के0जी0एम0यू0 सहित स्थानीय चिकित्सालयों के विकास के लिए स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी ने पूरे समर्पण के साथ कार्य किया। आर0एम0एल0 के एक सेण्टर का नाम पूर्व मुख्यमंत्री स्व0 श्री राम प्रकाश गुप्त के नाम तथा एक विंग का नाम लखनऊ के पूर्व मेयर स्व0 श्री एस0सी0 राय के नाम पर हो, इसके लिए भी वे सदा प्रयत्नशील रहे।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पूर्ववर्ती सरकारों की जड़ता को तोड़कर प्रदेश में चिकित्सा शिक्षा के कार्यक्रमों को आगे बढ़ाने के लिए स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी पूरी शालीनता के साथ बिना किसी प्रोप्रोगेण्डा के कार्य करते रहे। प्रदेश में नगर विकास मंत्री का दायित्व मिलने के बाद उन्होंने स्मार्ट सिटी मिशन को आगे बढ़ाने के साथ ही, विभिन्न अन्य कार्यक्रमों को साकार करने में भूमिका निभायी। वर्ष 2019 के चुनाव में वाराणसी में उनके चुनाव प्रचार के तरीके की चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वे प्रातः 06 बजे से लेकर 11 बजे तक वाराणसी की गलियों में कहीं चाय पीते हुए, कहीं खाते हुए, वहां के छोटे-छोट स्ट्रीट वेण्डर्स के बीच चुनाव प्रचार करते थे।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि गाजियाबाद प्रदेश का पहला म्युनिसिपल कॉरपोरेशन था, जिसका बॉण्ड जारी होना था। इसके लिए हम लोग मुम्बई गए थे। नगर विकास मंत्री के रूप में स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी थे। साथ ही, उस समय प्रदेश सरकार में स्वास्थ्य मंत्री श्री सिद्धार्थनाथ सिंह भी थे। मुम्बई में भी खाने-पीने के सामान वाली गलियों में श्री टण्डन जी की घूमकर आए। श्री सिद्धार्थनाथ सिंह जी से खान-पान की चर्चा पर उन्होंने कहा कि उन्हें कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक किस जनपद में कहां क्या मिलता है, इसकी जानकारी है। श्री सिद्धार्थनाथ सिंह जी ने कहा कि मेरा एक परिचित कन्याकुमारी जाना चाहता है। आप त्रिची से कन्याकुमारी के बीच में कोई होटल बताइये। श्री टण्डन जी ने उन्हें शुद्ध, सात्विक भोजन देने वाले होटल की जानकारी दी, जो एकदम सटीक थी। यह उनकी रुचि को दर्शाता है। स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी जितने समर्पण भाव से विचारधारा के लिए कार्य करते थे, जिस तरह दोस्ती निभाते थे, उसी तरह से जीवन को उन्मुक्त भाव से बिना तनाव के जीते थे। यह उनकी बड़ी खूबी थी। यह खूबी किसी भी व्यक्ति के जीवन की सफलता का मंत्र भी है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि स्व0 टण्डन जी को कैंसर की शिकायत होने पर डॉ0 राकेश कपूर ने मुझे यह जानकारी दी। मैंने उनसे पूछा कि क्या टण्डन जी को इसके बारे में बता दिया गया है। उन्होंने कहा कि हाँ, बता दिया गया है। मैं टण्डन जी को देखने मेदान्ता अस्पताल गया। उनके चेहरे पर कोई तनाव नहीं था। मैंने उनके स्वास्थ्य के बारे में पूछा, तो उन्होंने बताया कि मैं बिल्कुल ठीक हूं। मैंने कहा कि आप कुछ दिन आराम कीजिए। उन्होंने कहा कि आप कह रहे हैं तो मैं रेस्ट ले लूंगा। लेकिन वैसे, कोई समस्या नहीं है। स्व0 आशुतोष टण्डन जी के चेहरे पर कभी कोई तनाव नहीं झलका।
मुख्यमंत्री जी ने स्व0 श्री आशुतोष टण्डन ‘गोपाल जी’ को विनम्र श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि लालजी टण्डन फाउण्डेशन द्वारा यह कार्यक्रम आयोजित किया गया है। फाउण्डेशन द्वारा स्व0 श्री लालजी टण्डन एवं स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी की स्मृतियों को जीवन्त बनाने वाले ऐसे ही अलग-अलग प्रकार के रचनात्मक कार्यक्रम निरन्तर आयोजित किए जाने चाहिए। इन कार्यक्रमों में जीवन के अलग-अलग क्षेत्रों से जुड़े लोगों को आमंत्रित किया जाना चाहिए, क्योंकि स्व0 श्री लालजी टण्डन और स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी केवल राजनीति से नहीं जुड़े थे, बल्कि समाज सेवा के बड़े आयाम के साथ भी उनका जुड़ाव था।
कार्यक्रम को उप मुख्यमंत्री श्री ब्रजेश पाठक, पूर्व उप मुख्यमंत्री एवं राज्य सभा सदस्य डॉ0 दिनेश शर्मा, विधान परिषद सदस्य श्री भूपेन्द्र सिंह चौधरी ने भी सम्बोधित किया।
कार्यक्रम के दौरान केन्द्रीय रक्षा मंत्री तथा मुख्यमंत्री जी ने राजनीति एवं समाज सेवा में शुचिता बनाए रखने में उल्लेखनीय कार्य करने वाले स्व0 श्री भगवती नारायण शुक्ला की पत्नी श्रीमती उर्मिला शुक्ला, स्व0 डॉ0 एस0सी0 राय की पत्नी श्रीमती मधु राय तथा स्व0 श्री प्रदीप भार्गव की पत्नी श्रीमती अचला भार्गव को सम्मानित किया। कार्यक्रम में स्व0 श्री आशुतोष टण्डन जी के जीवन वृत्त पर आयोजित एक वृत्त चित्र प्रदर्शित किया गया।
इस अवसर पर समाज कल्याण राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री असीम अरुण, लखनऊ की महापौर श्रीमती सुषमा खर्कवाल सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण, मुख्यमंत्री जी के सलाहकार श्री अवनीश कुमार अवस्थी तथा अन्य गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।
---------
--
एक टिप्पणी भेजें
If you have any doubts, please let me know