बलरामपुर
एम एल के पी जी कॉलेज बलरामपुर के छोटा मैदान पर बुधवार को शैक्षणिक भवन हेतु भूमि पूजन कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस दौरान वैदिक मंत्रोच्चार के साथ भूमि पूजन किया गया।
भूमि पूजन कार्यक्रम का शुभारंभ वैदिक मंत्रोच्चार के बीच महाविद्यालय के संस्थापक अध्यक्ष महाराजा जयेन्द्र प्रताप सिंह ने विधिवत पूजा अर्चना के साथ किया। उपस्थित जनों को संबोधित करते हुए संस्थापक अध्यक्ष महाराजा जयेन्द्र प्रताप सिंह ने कहा कि महाविद्यालय ईट और गारे का बना हुआ मात्र इमारती ढांचा नहीं है जिसमें विभिन्न प्रकार के विद्यार्थी और शिक्षक होते हैं। शिक्षण संस्थान अपने मे ही विशिष्ट व्यक्तित्व लिए एक आध्यात्मिक संगठन है जो सदभावना पर आधारित होता है।
इसी सकारात्मक सोच के साथ हमारे पूर्वजों ने इस महाविद्यालय की आधारशिला रखी थी। उन्होंने कहा कि टेक्नोलॉजी कनेक्ट कर सकती है लेकिन रिलेट नहीं कर सकती। मनुष्य का ज्ञान, तकनीकी कौशल को तो बढ़ाना चाहिए पर उसके अंदर विश्व बंधुत्व और मानवता का भाव भी पूर्ण होना चाहिए। यही भारत का आध्यात्मिक अनुष्ठान है।आने वाले समय में शिक्षा से पुरुषार्थी और समाज निर्माण में योगदान देने वाली पीढ़ी का निर्माण होना चाहिए। एक ऐसी पीढ़ी जिसमें सामाजिकता, राष्ट्रीयता, संपूर्ण सृष्टि के हित का विचार हो। इसी उद्देश्य की पूर्ति हेतु तथा अपने जनमानस व भावी पीढ़ी को लाभान्वित करने के उद्देश्य से आज शैक्षणिक भवन के निर्माण के लिए भूमि पूजन किया गया है। महाविद्यालय प्रबंध समिति के सचिव रिटायर्ड लेफ्टिनेंट कर्नल आर के मोहन्ता व संयुक्त सचिव बी के सिंह ने कहा कि छात्रों के हितार्थ प्रबंध समिति सदैव तत्पर है और जो भी संभव होगा छात्रहित में आगे भी कई योजनाओं को साकार रूप दिया जायेगा।महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो0 जे पी पाण्डेय ने नए शैक्षणिक भवन में संचालित होने वाले डी फार्मा, बी फार्मा, बीएससी कृषि व एल एल बी विषयों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि भवन निर्माण एवं संबंधित परिषदों से औपचारिक स्वीकृति मिलने के बाद नये शैक्षणिक भवन पर प्रवेश एवं पठन पाठन प्रक्रिया प्रारंभ कर दी जायेगी। भूमि पूजन कार्यक्रम के दौरान महाविद्यालय के एसोसिएट एन सी सी अधिकारी लेफ्टिनेंट डॉ देवेन्द्र कुमार चौहान ने भविष्य में दिखने वाले शैक्षणिक भवन एवं महाविद्यालय के गौरवशाली इतिहास पर संक्षिप्त प्रकाश डाला।
इस अवसर पर नगर पालिका परिषद अध्यक्ष, डॉ धीरेन्द्र प्रताप सिंह,पूर्व प्राचार्य व उच्चतर शिक्षा आयोग उत्तर प्रदेश के पूर्व सदस्य डॉ ओ पी मिश्र,पूर्व प्राचार्य डॉ आर बी श्रीवास्तव, प्रो0 नरेन्द्र कुमार सिंह,प्रो0 आर के सिंह, महाविद्यालय पुरातन छात्र परिषद अध्यक्ष प्रद्युम्न सिंह,डॉ शैलेन्द्र प्रताप सिंह डी पी सिंह ,डॉ राजीव रंजन, प्रो0 पी के सिंह,प्रो0 राघवेन्द्र सिंह,प्रो0 एस पी मिश्र सहित महाविद्यालय के सभी विभागों के अध्यक्ष, प्राध्यापकगण ,शिक्षणेत्तर कर्मचारी एवं नगर के गणमान्य नागरिक मौजूद रहे।
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