राजकुमार गुप्ता 
वृन्दावन।छटीकरा रोड़ स्थित यशोदानंदन धाम में श्रीराधाकृष्ण प्रेम संस्थान के द्वारा निकुंजवासी भक्तिमती पदमा बाई (बुआजी) की सद्प्रेरणा से उनके परमाराध्य ठाकुर श्रीगोपालजी महाराज का 62 वां दिव्य व भव्य पाटोत्सव बिहार पंचमी को अत्यंत श्रद्धा एवं धूमधाम के साथ  मनाया गया।सर्वप्रथम वैदिक मंत्रोच्चार के मध्य ठाकुर श्रीगोपालजी महाराज का पंचामृत से अभिषेक एवं पूजन-अर्चन किया गया।साथ ही उनकी विशेष आरती उतारी गई।
सायंकाल प्रख्यात गायिका सुमन दुबे व अर्चना गोस्वामी ने अपनी सुमधुर वाणी में संगीत की मृदुल स्वर लहरियों के मध्य श्रीराधा कृष्ण की महिमा से ओतप्रोत भजनों का गायन कर सभी को भाव-विभोर कर दिया।इसके अलावा शेरा पंडित म्यूज़िकल ग्रुप के द्वारा भी भजनों की प्रस्तुति दी गई।
भागवताचार्य विपिन बापू महाराज ने कहा कि निकुंजवासी भक्तिमती पदमा बाई (बुआजी) ठाकुर श्रीगोपालजी महाराज की अनन्य उपासक थीं।उन्होंने 61 वर्ष पूर्व बिहार पंचमी के अवसर पर इस उत्सव की शुरूआत की थी।उन्ही की सद्प्रेरणा और आशीर्वाद से प्रतिवर्ष ये उत्सव श्रीराधाकृष्ण प्रेम संस्थान के द्वारा अत्यंत श्रद्धा एवं धूमधाम के साथ मनाया जाता है।
साध्वी माँ भावना रामानुजम माताजी एवं पुराणाचार्य डॉ. मनोज मोहन शास्त्री ने कहा कि निकुंजवासी भक्तिमती पदमा बाई (बुआजी) अत्यंत सेवाभावी एवं परम भजनानंदी थीं।वे सदैव अपने परमाराध्य ठाकुर श्रीगोपालजी महाराज को लाड लड़ाया करती थी।
वरिष्ठ साहित्यकार डॉ. गोपाल चतुर्वेदी एवं श्रीराम कथा मर्मज्ञ अशोक व्यास ने कहा कि श्रीधाम वृन्दावन उत्सवों की भूमि है।यहां नित्य प्रति किसी न किसी रूप में ठाकुर श्रीराधा-कृष्ण के उत्सव मनाए जाते हैं।ऐसे उत्सवों से ही भारतीय वैदिक संस्कृति पोषित व पल्लवित होती है।
इस अवसर पर ललित किशोर व्यास,आचार्य सुरेशचंद्र शास्त्री, अशोक शास्त्री, कार्ष्णि नागेंद्र महाराज, अश्वनी मिश्र, ब्रजकिशोर पचौरी, राधे श्याम (भगतजी), संगीतचार्य बनवारी महाराज, रासाचार्य स्वामी रामशरण शर्मा, भागवत प्रवक्ता वर्षा हरि कौशल, डॉ. राधाकांत शर्मा, स्वामी प्रेम शरण तिवारी आदि की उपस्थिति विशेष रही।।महोत्सव का समापन वृहद भंडारे के साथ हुआ।

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