लखनऊ: 28 नवम्बर, 2023
उ0प्र0 शिक्षा सेवा चयन आयोग नियमावली, 2023
को प्रख्यापित किये जाने के प्रस्ताव स्वीकृत
मंत्रिपरिषद ने उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन आयोग नियमावली, 2023 को प्रख्यापित किये जाने के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है। मंत्रिपरिषद ने इसमें यथावश्यकता किसी भी परिवर्तन/परिवर्धन हेतु मुख्यमंत्री जी को अधिकृत किया है।
प्रदेश के अशासकीय सहायता प्राप्त महाविद्यालयों के शिक्षकों के चयन हेतु उत्तर प्रदेश उच्चतर शिक्षा सेवा आयोग, अशासकीय सहायता प्राप्त इण्टरमीडिएट कालेज के शिक्षकों के चयन हेतु उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड तथा सहायता प्राप्त जूनियर हाईस्कूलों एवं सम्बद्ध प्राइमरी अनुभाग में सहायक अध्यापकों के पदों पर चयन हेतु सम्बन्धित प्रबन्धतंत्र एवं परिषदीय विद्यालयों में सहायक अध्यापक के पदों पर चयन हेतु जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी व सचिव, बेसिक शिक्षा परिषद्, व्यावसायिक शिक्षा विभाग में अनुदेशकों के चयन हेतु उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा आयोग के गठन संबंध में विधायी अनु0-1 उ0प्र0 शासन की अधिसूचना संख्या 415/79-वि- 1-2023-1-क-14-2023, दिनांक 21 अगस्त, 2023 प्रख्यापित की जा चुकी है।
उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन आयोग में सक्षम एवं योग्य शिक्षकों/प्रशिक्षकों का चयन करने, चयन की गुणवत्ता, निष्पक्षता और पारदर्शिता सुनिश्चित करने एवं आयोग द्वारा अपने वैधानिक दायित्वों के निर्वहन, दायरे, शक्तियों, कार्यों और प्रक्रियाओं को चिन्हित करने की दृष्टि से स्पष्ट दिशा-निर्देश प्रदान करने हेतु उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन आयोग नियमावली, 2023 को पारित कराये जाने की आवश्यकता है।
यह नियमावली, उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन आयोग नियमावली, 2023 कही जायेगी। यह गजट में प्रकाशन की तिथि से प्रवृत्त होगी।
उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन आयोग के अध्यक्ष एवं सदस्यों का चयन एक सर्च कमेटी द्वारा किया जाएगा, जिसके अध्यक्ष मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश शासन होंगे।
सर्च कमेटी की संस्तुति के अनुसार अध्यक्ष/सदस्य पद पर चयन/नियुक्ति हेतु सूचीबद्ध किये गये अभ्यर्थियों की सूची मुख्यमंत्री जी के अनुमोदनार्थ प्रस्तुत की जायेगी।
आयोग में एक सचिव, एक परीक्षा नियंत्रक, एक वित्त नियंत्रक, न्यायिक सेवा के एक विधि अधिकारी, एक वित्त एवं लेखा अधिकारी, आउटसोर्स से एक कम्प्यूटर एवं आई0टी0 समन्वयक एवं चार उप सचिव राज्य सरकार द्वारा तीन वर्ष से अनधिक अवधि के लिए प्रतिनियुक्ति पर नियुक्त किये जाएंगे।
उत्तर प्रदेश उच्चतर शिक्षा सेवा आयोग और उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के प्रत्येक पूर्ण कालिक कर्मचारी की सेवाएं आयोग को अन्तरित हो जाएंगी।
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जल जीवन मिशन के अन्तर्गत प्रदेश के विन्ध्य/बुन्देलखण्ड क्षेत्र के
जनपद बांदा की 01, जनपद सोनभद्र की 01 तथा जनपद मीरजापुर की 03
कुल 05 निर्माणाधीन पाइप लाइन पेयजल योजनाओं की पुनरीक्षित लागत अनुमोदित
मंत्रिपरिषद ने जल जीवन मिशन के अन्तर्गत प्रदेश के विन्ध्य/बुन्देलखण्ड क्षेत्र के जनपद बांदा की 01, जनपद सोनभद्र की 01 तथा जनपद मीरजापुर की 03 कुल 05 निर्माणाधीन पाइप लाइन पेयजल योजनाओं की पुनरीक्षित लागत को अनुमोदित कर दिया है।
इसके तहत जनपद बांदा की अमलीकौर ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना, जनपद सोनभद्र की अमावर ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना एवं जनपद मीरजापुर की अहुंगीकला ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना, गोथौरा एवं धौहा ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना व तलार ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना, इन 05 सतही स्रोत आधारित पाइप पेयजल योजनाओं, जिनकी लागत 200 करोड़ रुपये से अधिक है, की पुनरीक्षित लागत को अनुमोदन प्रदान किया गया है।
जनपद बांदा की अमलीकौर ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना हेतु मूल स्वीकृत लागत 81429.10 लाख रुपये के सापेक्ष पुनरीक्षित लागत 87934.68 लाख रुपये स्वीकृत की गयी है। योजना के तहत विकास खण्ड महुआ, बबेरू, बडोखरखुर्द एवं तिंदवारी के 177 गांव आच्छादित होंगे।
जनपद सोनभद्र की अमावर ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना हेतु मूल स्वीकृत लागत 17111.39 लाख रुपये के सापेक्ष पुनरीक्षित लागत 23765.38 लाख रुपये स्वीकृत की गयी है। योजना के तहत विकास खण्ड दुद्धी तथा म्योरपुर के 65 गांव आच्छादित होंगे।
जनपद मीरजापुर की अहुंगीकला ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना हेतु मूल स्वीकृत लागत 26237.86 लाख रुपये के सापेक्ष पुनरीक्षित लागत 32828.28 लाख रुपये स्वीकृत की गयी है। योजना के तहत विकास खण्ड हलिया एवं लालगंज के 161 गांव आच्छादित होंगे। जनपद मीरजापुर की गोथौरा एवं धौहा ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना हेतु मूल स्वीकृत लागत 58273.29 लाख रुपये के सापेक्ष पुनरीक्षित लागत 60773.81 लाख रुपये स्वीकृत की गयी है। योजना के तहत विकास खण्ड जमालपुर धौहा एवं नारायणापुर के 367 गांव आच्छादित होंगे। जनपद मीरजापुर की तलार ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना हेतु मूल स्वीकृत लागत 17963.28 लाख रुपये के सापेक्ष पुनरीक्षित लागत 20344.83 लाख रुपये स्वीकृत की गयी है। योजना के तहत विकास खण्ड राजगढ़ के 84 गांव आच्छादित होंगे।
प्रदेश में जल जीवन मिशन के अन्तर्गत पेयजल योजनाओं का तीव्र गति से क्रियान्वयन कराया जा रहा है। जिसके अन्तर्गत विन्ध्य एवं बुन्देलखण्ड क्षेत्र के विभिन्न जनपदों में विभिन्न कारणों से इन निर्माणाधीन योजनाओं का पुनरीक्षित प्राक्कलन विरचित किया गया है एवं पुनरीक्षित लागत में वृद्धि हुई है। वित्त व्यय समिति द्वारा विन्ध्य/बुन्देलखण्ड क्षेत्र की सतही स्रोत आधारित जल जीवन मिशन के अन्तर्गत क्रियान्वित की जा रही ऐसी योजनाएं, जिनकी पुनरीक्षित लागत 200 करोड़ रुपये से अधिक है, पर अपनी संस्तुति प्रदान करते हुये इन्हें मंत्रिपरिषद के समक्ष प्रस्तुत किये जाने की संस्तुति की गयी।
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जल जीवन मिशन के अन्तर्गत जनपद ललितपुर की
‘मऊ ग्राम समूह पाइप पेयजल परियोजना’ के क्रियान्वयन के सम्बन्ध में
मंत्रिपरिषद ने जल जीवन मिशन के अन्तर्गत जनपद ललितपुर की ‘मऊ ग्राम समूह पाइप पेयजल परियोजना’ के क्रियान्वयन के लिए जल शोधन संयंत्र हेतु सिंचाई एवं जल संसाधन विभाग द्वारा नमामिगंगे तथा ग्रामीण जलापूर्ति विभाग को उपलब्ध करायी गयी निःशुल्क भूमि के गाटा संख्या में परिवर्तन के प्रस्ताव को अनुमोदित कर दिया है।
जल जीवन मिशन के अन्तर्गत प्रदेश के सम्पूर्ण ग्रामीण आबादी को शुद्ध पेयजल की सुविधा उपलब्ध कराये जाने की कार्यवाही चरणबद्ध रूप से कराई जा रही है। इसके क्रम में प्रदेश के समस्त जनपदों के ग्रामीण क्षेत्रों में क्रियान्वित की जा रही योजनाएं प्रगति पर हैं।
मऊ ग्राम समूह पाइप पेयजल परियोजना के अन्तर्गत सिंचाई एवं जल संसाधन विभाग द्वारा पूर्व में गूगर/माताटीला बांध के गाटा संख्या-277 रकबा 0.490 हेक्टेयर निःशुल्क भूमि दी गयी थी। वर्तमान में जिलाधिकारी ललितपुर द्वारा की गयी संस्तुति/संशोधित प्रस्ताव के अनुसार जनपद-ललितपुर की मऊ ग्राम समूह पाइप पेयजल योजना हेतु गूगर/माताटीला बांध के गाटा संख्या-277 के स्थान पर गाटा संख्या-227 में से 1.0000 हेक्टेयर भूमि प्राप्त किये जाने हेतु गाटा संख्या के परिवर्तन पर अनुमोदन प्रदान किये जाने हेतु मंत्रिपरिषद के समक्ष प्रस्ताव प्रस्तुत किया गया है।
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वेदर इन्फॉर्मेशन नेटवर्क डाटा सिस्टम के अन्तर्गत
प्रदेश के विकास खण्डों एवं ग्राम पंचायतों में ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन
तथा ऑटोमेटिक रेन गेज स्थापित किये जाने के सम्बन्ध में प्रस्ताव स्वीकृत
मंत्रिपरिषद ने भारत सरकार के दिशा-निर्देशों के अनुसार वेदर इन्फॉर्मेशन नेटवर्क डाटा सिस्टम (विन्ड्स) के अन्तर्गत प्रदेश के विकास खण्डों एवं ग्राम पंचायतों में ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन (ए0डब्ल्यू0एस0) तथा ऑटोमेटिक रेन गेज (ए0आर0जी0) स्थापित किये जाने के सम्बन्ध में प्रस्तुत प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है।
कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा कृषि एवं अन्य क्षेत्रों में उपयोग हेतु वेदर इन्फॉर्मेशन नेटवर्क डाटा सिस्टम (विन्ड्स) को बनाये जाने का निर्णय लिया गया है।
प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के अन्तर्गत बीमा की इकाई ग्राम पंचायत स्तर है। ग्राम पंचायत स्तर पर मौसम सम्बन्धी डाटा की उपलब्धता होने से क्षतिपूर्ति का निर्धारण और अधिक पारदर्शिता से सम्भव हो सकेगा तथा पुनर्गठित मौसम आधारित फसल बीमा योजना को अधिक जनपदों एवं औद्यानिक फसलों पर संचालित करने में सुगमता होगी।
ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन (ए0डब्ल्यू0एस0) की स्थापना विकासखण्ड के कार्यालय में तथा ऑटोमेटिक रेन गेज (ए0आर0जी0) को ग्राम पंचायतों में स्थापित पंचायत भवनों की छत पर स्थापित कराया जाना है।
भविष्य में भारत सरकार एवं प्रदेश सरकार की अन्य योजनाओं यथा आपदा प्रबन्धन, मौसम एवं पर्यावरण के क्षेत्र में अध्ययन, परिवहन, टूरिज्म, ऊर्जा आदि जिसमें मौसम के आंकड़ों का महत्व है, उन्हें भी विन्ड्स के दायरे में लाया जाएगा।
वेदर इन्फॉर्मेशन नेटवर्क डाटा सिस्टम (विन्ड्स) को प्राइवेट सेक्टर के पार्टीसिपेशन से स्थापित कराते हुए देश में एकल डिजिटल प्लेटफार्म पर मौसम डाटा इन्फ्रास्ट्रक्चर को सुदृढ़ किया जायेगा।
ब्लाक स्तर पर कुल 826 ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन (ए0डब्ल्यू0एस0) तथा ग्राम पंचायत स्तर पर कुल 57702 ऑटोमेटिक रेन गेज (ए0आर0जी0) विन्ड्स कार्यक्रम के अन्तर्गत स्थापित कराये जाने है। इनमें से 450 ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन तथा 200 ऑटोमेटिक रेन गेज राजस्व विभाग के माध्यम से स्थापित किये जा रहे हैं। 68 ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन व 132 ऑटोमेटिक रेन गेज भारतीय मौसम विभाग द्वारा स्थापित हैं। इनको घटाते हुए विण्ड्स परियोजना के अन्तर्गत 308 ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन ब्लॉक स्तर पर तथा 55570 ऑटोमेटिक रेन गेज ग्राम पंचायत स्तर पर स्थापित किए जाऐंगे।
विन्ड्स कार्यक्रम के प्रगति की समीक्षा कृषि उत्पादन आयुक्त, उत्तर प्रदेश शासन की अध्यक्षता में गठित राज्य स्तरीय समन्वय समिति द्वारा की जाएगी।
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जिला चिकित्सालय, सीतापुर के नए भवन के निर्माण हेतु चिकित्सा एवं
स्वास्थ्य विभाग के पक्ष में निःशुल्क आवंटित/हस्तान्तरित करने के सम्बन्ध में
मंत्रिपरिषद ने मोहल्ला सिविल लाइन, सीतापुर स्थित नजूल भूखण्ड संख्या-1475 क्षेत्रफल 13 बीघा, 14 बिसवा 9-18/20 बिस्वांसी को जिला चिकित्सालय, सीतापुर के नए भवन के निर्माण हेतु चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के पक्ष में निःशुल्क आवंटित/हस्तान्तरित किये जाने के प्रस्ताव को कतिपय शर्ताें के साथ अनुमोदित कर दिया है। यह हस्तान्तरण अपवादस्वरूप होगा तथा इसे भविष्य में दृष्टांत के रूप में नहीं माना जाएगा।
जिलाधिकारी, सीतापुर द्वारा ग्राम छावनी कदीम परगना खैराबाद, तहसील व जिला सीतापुर नान जेड0ए0 वर्तमान खतौनी सन् 1430 फसली के खाता संख्या-66 राजस्व भूखण्ड गाटा संख्या-566/0.142, 571/2.541, 572/2.946 कुल तीन किता क्षेत्रफल 5.629 है0 पर नगर पालिका परिषद सीतापुर के मोहल्ला सिविल लाइन, सीतापुर स्थित नजूल भूखण्ड संख्या-1475 क्षेत्रफल 13 वीघा, 14 बिसवा 9-18/20 बिस्वांसी को जिला चिकित्सालय, सीतापुर के नए भवन के निर्माण हेतु निःशुल्क हस्तान्तरित किये जाने का प्रस्ताव उपलब्ध कराया गया है।
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ऐशबाग ईदगाह के सामने मौजा भदेवां, लखनऊ स्थित नजूल भूमि
जिसे डॉ0 अम्बेडकर सांस्कृतिक केन्द्र की स्थापना हेतु संस्कृति विभाग, उ0प्र0
शासन को आवंटित किया गया है, से सटी नजूल भूमि खसरा संख्या-232, 233,
234, 236 तथा 237 क्षेत्रफल 3299 वर्गमी0 को डॉ0 अम्बेडकर सांस्कृतिक केन्द्र
की स्थापना हेतु संस्कृति विभाग को आवंटित किये जाने के सम्बन्ध में
मंत्रिपरिषद ने उपाध्यक्ष, लखनऊ विकास प्राधिकरण के प्रस्ताव के क्रम में नजूल भूमि खसरा संख्या-232, 233, 234, 236 तथा 237 क्षेत्रफल लगभग 4052.32 वर्गमीटर जोकि वर्तमान में रिक्त है, में से क्षेत्रफल 3299 वर्गमीटर को डॉ0 अम्बेडकर सांस्कृतिक केन्द्र की स्थापना हेतु संस्कृति विभाग को निःशुल्क आवंटित/हस्तान्तरित किये जाने के प्रस्ताव को कतिपय शर्ताें के साथ स्वीकृति प्रदान कर दी है।
आवास एवं शहरी नियोजन अनुभाग-4, उ0प्र0 शासन द्वारा पत्र संख्या-7/2021/653/आठ-4-2021- 05एल0डी0ए0/2016 दिनांक 25 जून, 2021 द्वारा ऐशबाग ईदगाह के सामने मौजा भदेवां, लखनऊ की नजूल भूमि खसरा संख्या-232 233, 234, 236 तथा 237 का अंशभाग क्षेत्रफल 5493.52 वर्गमीटर डॉ0 अम्बेडकर सांस्कृतिक केन्द्र की स्थापना हेतु संस्कृति विभाग, उत्तर प्रदेश शासन को निःशुल्क कतिपय शर्तों के अधीन आवंटित किये जाने की स्वीकृति प्रदान की गयी थी।
उपाध्यक्ष, लखनऊ विकास प्राधिकरण द्वारा इस नजूल भूमि से सटी नजूल भूमि खसरा संख्या-232, 233, 234, 236 तथा 237 क्षेत्रफल लगभग 4052.32 वर्गमीटर जोकि वर्तमान में रिक्त है, में से क्षेत्रफल 3299 वर्गमीटर को डॉ0 अम्बेडकर सांस्कृतिक केन्द्र की स्थापना हेतु संस्कृति विभाग को आवंटित किये जाने का प्रस्ताव उपलब्ध कराया गया है।
यह हस्तान्तरण अपवादस्वरूप होगा तथा इसे भविष्य में दृष्टांत के रूप में नहीं माना जायेगा।
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भवन निर्माण एवं विकास उपविधि-2008 (यथा संशोधित) में संशोधन
मंत्रिपरिषद ने उत्तर प्रदेश नगर योजना और विकास अधिनियम-1973 की धारा-57 में प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए वर्तमान में प्रभावी भवन निर्माण एवं विकास उपविधि-2008 (यथा संशोधित) में संशोधन के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है। यह संशोधन ऑनलाइन पोर्टल पर मानचित्रों के समयबद्ध एवं सुगम निस्तारण, पार्किंग, भवन की अधिकतम ऊँचाई, आंशिक पूर्णतः प्रमाण-पत्र, इलेक्ट्रिक वाहनों हेतु चार्जिंग स्टेशन, डिजिटल संचार अवसंरचना, आंतरिक विद्युत सुरक्षा, सड़कों एवं सार्वजनिक स्थलों पर आई0पी0 बेस्ड सी0सी0टी0वी0 कैमरे लगाये जाने आदि के प्राविधान सुनिश्चित करने से सम्बन्धित हैं। इन्हें विकास प्राधिकरणों/उत्तर प्रदेश आवास एवं विकास परिषद द्वारा अपने बोर्ड से अनुमोदित कराते हुए लागू किया जाएगा।
मंत्रिपरिषद ने भवन निर्माण एवं विकास उपविधि (यथा संशोधित) में भविष्य में किसी प्रकार के संशोधन करने अथवा संशोधन के सम्बन्ध में मंत्रिपरिषद का अनुमोदन प्राप्त करने के लिए निर्णय लिये जाने/मार्गदर्शन प्रदान किये जाने हेतु मुख्यमंत्री जी को अधिकृत किया है।
प्रभावी भवन निर्माण एवं विकास उपविधि में संशोधन से बदलते परिवेश की मांग के अनुरूप भवन निर्माण तथा भूखण्डीय विकास अपेक्षित मानकों का भवन निर्माण एवं विकास उपविधि में समावेश करते हुए उपविधि में संशोधन किये जाने से भवनों/भूखण्डों के मानचित्रों की स्वीकृति की प्रक्रिया सरल एवं सुगम होगी तथा जनसामान्य की सुविधाओं तथा सुरक्षा को बढ़ावा मिलेगा। शहरी क्षेत्रों में गुणवत्ता पूर्ण आवासीय इकाइयों की उपलब्धता बढ़ेगी।
प्रदेश के शहरी क्षेत्रों में भवनों/भूखण्डों के मानचित्रों की स्वीकृति की प्रक्रिया सरल एवं सुगम होगी तथा जनसामान्य की सुरक्षा तथा सुविधा को बढावा मिलेगा। शहरी क्षेत्रों में गुणवत्ता पूर्ण आवासीय इकाइयों की उपलब्धता बढ़ेगी। पार्किंग सुविधा तथा सुरक्षा मानकों का विस्तार होगा।
नगरों के सुनियोजित से रियल स्टेट क्षेत्र में रोजगार सृजन में बढ़ोत्तरी होगी।
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प्राविधिक शिक्षा विभाग द्वारा भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान,
लखनऊ को निःशुल्क भूमि हस्तान्तरित किये जाने के सम्बन्ध में
मंत्रिपरिषद ने पशुधन विभाग द्वारा चक गजरिया सिटी, सुल्तानपुर रोड, इकाना स्टेडियम, लखनऊ के पीछे स्थित कुल 20.241 हेक्टेयर (50 एकड़) भूमि जो प्राविधिक शिक्षा विभाग को निःशुल्क आवंटित की गयी थी, उसे प्राविधिक शिक्षा विभाग द्वारा भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान, लखनऊ को निःशुल्क हस्तान्तरित किये जाने के प्रस्ताव को अनुमोदित कर दिया है।
भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी, लखनऊ आई0आई0आई0टी0 (पी0पी0पी0) एक्ट, 2017 से अधिनियमित राष्ट्रीय महत्व का संस्थान है एवं प्रथम बैठक दिनांक 16 नवम्बर, 2021 के संकल्पानुसार प्रशासकीय परिषद का गठन किया गया है।
भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान (पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप) बिल 2017 के प्रस्तर-40 (डी) में राज्य सरकार द्वारा निःशुल्क प्रदान की जाने वाली 50 से 100 एकड़ की सीमा तक पर्याप्त भूमि की उपयुक्तता का प्राविधान किया गया है।
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जनपद मुरादाबाद में होमगार्ड्स विभाग के जिला/मण्डलीय होमगार्ड्स
कार्यालय के भवन निर्माण के लिए निःशुल्क भूमि दिये जाने के सम्बन्ध में
मंत्रिपरिषद ने जिला/मण्डलीय, होमगार्ड्स, मुरादाबाद के कार्यालय भवन हेतु ग्राम सोनकपुर, परगना, तहसील व जिला मुरादाबाद स्थित गाटा संख्या-363 रकबा-0.603 हेक्टेयर में से 0.3000 हेक्टेयर, जो राजस्व अभिलेखों में श्रेणी-14(3)-अकृषिक भूमि बंजर के रूप में दर्ज नॉन जेड0ए0 की भूमि को कमाण्डेण्ट जनरल, होम गार्ड्स, लखनऊ के पक्ष में वित्त (लेखा) अनुभाग-2 के कार्यालय ज्ञाप संख्या-ए-2-75/दस-77-14(4)/74 दिनांक 03 फरवरी, 1977 के प्राविधानों के अन्तर्गत कतिपय शर्ताें एवं प्रतिबन्धों के अधीन आवंटित/हस्तांतरित किये जाने के प्रस्ताव को अनुमोदित कर दिया है।
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सहरपुर जमरपानी कोल ब्लॉक के विकास हेतु एम0डी0ओ0
मॉडल ‘ए’ के अनुसार निविदा कार्यवाही करने का प्रस्ताव अनुमोदित
मंत्रिपरिषद ने एम0डी0ओ0 (माइन डेवलपर एण्ड ऑपरेटर) मॉडल ‘ए’ के अनुसार उपलब्ध डाटा के आधार पर सहरपुर जमरपानी कोल ब्लॉक के विकास पर उत्तर प्रदेश राज्य विद्युत उत्पादन नि0 लि0 द्वारा सम्पादित किये जाने वाले कार्याें के सापेक्ष लगभग 5,347 करोड़ रुपये (जी0एस0टी0 सहित) का अनुमानित पूंजीगत व्ययभार तथा जियोलॉजिकल रिपोर्ट एवं विस्तृत डी0पी0आर0 बनने के बाद उत्तर प्रदेश राज्य विद्युत उत्पादन नि0 लि0 द्वारा किये जाने वाले वास्तविक पूंजीगत व्ययभार का पुनः अनुमोदन प्राप्त किया जाएगा, को संज्ञान में लेते हुए एम0डी0ओ0 मॉडल ‘ए’ के अनुसार निविदा कार्यवाही करने का अनुमोदन प्रदान कर दिया है।
एम0डी0ओ0 के चयन के उपरान्त सहरपुर जमरपानी कोल ब्लॉक का विकास एम0डी0ओ0 द्वारा किया जाएगा। ई0टी0एफ0 के अनुमोदन के उपरान्त सहरपुर जमरपानी कोल ब्लॉक हेतु एम0डी0ओ0 की तैनाती के लिए मै0 एन0एल0सी0आई0एल0, नैवेली (भारत सरकार का उपक्रम) को परामर्शी नियुक्त किया गया है। एम0डी0ओ0 मॉडल ‘ए’ के तहत उत्तर प्रदेश राज्य विद्युत उत्पादन नि0 लि0 द्वारा कोल ब्लॉक विकसित करने की लागत स्वयं वहन किया जाएगा।
इस कोल ब्लॉक से उ0नि0लि0 की हरदुआगंज विस्तार-प्प्प् (1ग660 मे0वा0), ओबरा ‘सी’ (2ग660 मे0वा0), जवाहरपुर तापीय परियोजना (2ग660 मे0वा0) एवं पनकी विस्तार (1ग660 मे0वा0) को कोयले की आपूर्ति होगी।
सहरपुर जमरपानी कोल ब्लॉक से आपूर्तित होने वाले कोयले से उ0नि0लि0 की उपरोक्त परियोजनाओं से उत्पादित शत-प्रतिशत बिजली प्रदेश की जनता को प्राप्त होगी एवं प्रदेश का विकास होगा।
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धर्मार्थ कार्य विभाग के अन्तर्गत अयोध्या में कराये जा रहे
विभिन्न विकास कार्याें हेतु अयोध्या विकास प्राधिकरण, अयोध्या
को कार्यदायी संस्था नामित किये जाने के सम्बन्ध में
मंत्रिपरिषद ने धर्मार्थ कार्य विभाग के अन्तर्गत अयोध्या में कराये जा रहे विभिन्न विकास कार्याें हेतु अयोध्या विकास प्राधिकरण, अयोध्या को कार्यदायी संस्था नामित किये जाने के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है।
इसके तहत शासनादेश संख्या-1521/57-2023-1(जी)/ 2021टी0सी0-ााा, दिनांक 24 अगस्त, 2023 पर तथा जन्मभूमि पथ एवं भक्ति पथ पर पड़ने वाले भवनों के फसाड ट्रीटमेंट कार्य हेतु अयोध्या विकास प्राधिकरण, अयोध्या को कार्यदायी संस्था नामित किया गया है। साथ ही, जनपद अयोध्या में ग्राम राजेपुर प्रवेश द्वार के समीप अकबरपुर रोड पर ग्राम सरियांवा प्रवेश द्वार के समीप रायबरेली रोड पर, ग्राम फिरोजपुर प्रवेश द्वार के समीप लखनऊ रोड पर पर्यटक सुविधा केन्द्रों को विकसित किये जाने हेतु तथा जनपद अयोध्या में 75 स्मार्ट सार्वजनिक शौचालयों एवं यूनिलिटीज के निर्माण हेतु अयोध्या विकास प्राधिकरण, अयोध्या को कार्यदायी संस्था नामित किया गया है।
मंत्रिपरिषद ने इस सम्बन्ध में भविष्य में कोई परिवर्तन/संशोधन मुख्यमंत्री जी के अनुमोदन से किये जा सकने की भी अनुमति प्रदान की है।
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सामान्य भविष्य निधि (उत्तर प्रदेश) (संशोधन) नियमावली, 1985 के नियम 7(1), नियम-8(1)(4) एवं नियमन-10(3) की वर्तमान व्यवस्था के सम्बन्ध में
मंत्रिपरिषद ने सामान्य भविष्य निधि (उत्तर प्रदेश) नियमावली, 1985 के नियम-7(1), नियम-8(1)(4) एवं नियम-10(3) में संशोधन के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है। साथ ही, प्रस्तावित सामान्य भविष्य निधि (उत्तर प्रदेश) (संशोधन), नियमावली, 2023 पूर्वगामी तिथि दिनांक 21 मार्च, 2023 से प्रभावी किये जाने को भी स्वीकृति प्रदान की गयी है।
ज्ञातव्य है कि भारत सरकार, कार्मिक, लोक शिकायत एवं पेंशन मंत्रालय, पेंशन एवं पेंशनभोगी कल्याण विभाग, नई दिल्ली की अधिसूचना संख्या जी0एस0आर0 96 दिनांक 15 जून, 2022 द्वारा किसी अभिदाता द्वारा एक वित्तीय वर्ष में सामान्य भविष्य निधि की सदस्यता पर 05 लाख रुपये की अंशदान सीमा निर्धारित किये जाने हेतु सामान्य भविष्य निधि (केन्द्रीय सेवायें), नियम 1960 में कतिपय संशोधन किये गये हैं। भारत सरकार द्वारा आयकर नियम 1962 के नियम 9डी(2)(बी)8(सी) के अन्तर्गत वर्ष 2022-2023 से एक वित्तीय वर्ष में किसी भी अभिदाता द्वारा अधिकतम 05 लाख रुपये का ही अभिदान करने का प्राविधान हो चुका है।
भारत सरकार, कार्मिक, लोक शिकायत एवं पेंशन मंत्रालय, पेंशन एवं पेंशनभोगी कल्याण विभाग, नई दिल्ली की अधिसूचना संख्या जी0एस0आर0 96 दिनांक 15 जून, 2022 में उल्लिखित संशोधनों के दृष्टिगत आई0टी0 एक्ट के प्राविधानों के अनुपालन हेतु सामान्य भविष्य निधि (उत्तर प्रदेश) नियमावली, 1985 के संगत नियमों में संशोधन किये जाने का प्रस्ताव है।
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