मुख्यमंत्री ने प्रदेश को वन ट्रिलियन डाॅलर इकोनाॅमी बनाने के सम्बन्ध में समीक्षा की

उ0प्र0 को वन ट्रिलियन डाॅलर की अर्थव्यवस्था बनाने के लक्ष्य के साथ
‘यू0पी0 फॉर यू0पी0, यू0पी0 फॉर इंडिया, यू0पी0 फॉर द वल्र्ड’ की परिकल्पना: मुख्यमंत्री

प्रधानमंत्री जी के विजन के अनुरूप उ0प्र0 को
वन ट्रिलियन डॉलर अर्थव्यवस्था बनाना हमारा मिशन

वर्ष 2027 तक उ0प्र0 वन ट्रिलियन डाॅलर की अर्थव्यवस्था के
साथ सबका साथ-सबका विकास की नीति का मानक बनेगा

प्रदेश को वन ट्रिलियन डॉलर इकोनाॅमी बनाने के लिए
एम0एस0एम0ई0 सेक्टर में बड़े स्तर पर योजना बनाने की आवश्यकता

प्रत्येक प्रकार के निर्माण कार्य का रजिस्ट्रेशन अवश्य
कराया जाए, इसके लिए टेक्नोलॉजी का उपयोग किया जाए

सभी जनपदों के विभिन्न संसाधनों से होने वाले आय-व्यय के
डेटा के साथ जिलों की जी0डी0पी0 को प्रकाशित कराया जाए

ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में और अधिक सुधार के प्रयास करने चाहिए

प्रदेश को ग्रीन एनर्जी हब बनाने के सम्बन्ध में विचार-विमर्श

प्रदेश में आने वाले पर्यटकों के सटीक आकलन के लिए मैकेनिज्म तैयार किया जाए

आगामी सितम्बर में ग्रेटर नोएडा में यू0पी0 इण्टरनेशनल टेªड शो
का आयोजन  यू0पी0 ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट की तर्ज पर बड़े स्तर पर होना चाहिए

लखनऊ: 23 जून, 2023


उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने आज यहां अपने सरकारी आवास पर आयोजित उच्चस्तरीय बैठक में प्रदेश को वन ट्रिलियन डाॅलर इकोनाॅमी बनाने एवं राज्य के आय-व्यय के सम्बन्ध में विभिन्न विभागों के अधिकारियों के साथ समीक्षा कर दिशा-निर्देश दिए।
उत्तर प्रदेश को वन ट्रिलियन डाॅलर की अर्थव्यवस्था बनाने के लक्ष्य के साथ प्रदेश के लिए ‘यू0पी0 फॉर यू0पी0, यू0पी0 फॉर इंडिया, यू0पी0 फॉर द वल्र्ड’ की परिकल्पना करते हुए मुख्यमंत्री जी ने कहा है कि अब समय उत्तर प्रदेश का है। अपने पोटेंशियल का पूरा लाभ उठाते हुए उत्तर प्रदेश देश के बहुआयामी विकास का सबसे महत्वपूर्ण आधार बनेगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश की क्षमता के अनुरूप सेक्टरवार अल्पकालिक और दीर्घकालिक रणनीति तय करते हुए इस बड़े लक्ष्य की प्राप्ति के लिए 05 वर्ष की समय-सीमा निर्धारित की गयी है। वर्ष 2027 तक उत्तर प्रदेश वन ट्रिलियन डाॅलर की अर्थव्यवस्था के साथ सबका साथ-सबका विकास की नीति का मानक बनेगा।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के विजन के अनुरूप उत्तर प्रदेश को वन ट्रिलियन डॉलर अर्थव्यवस्था बनाना हमारा मिशन है। अधिकारी इसके लिए कोर सेक्टर्स पर फोकस करें। कृषि, विनिर्माण, धार्मिक पर्यटन और आई0टी0 एण्ड आई0टी0ई0एस0 हमारे कोर सेक्टर्स हैं। इसके अलावा, ऊर्जा, स्वास्थ्य, शहरी विकास, शिक्षा, खाद्य प्रसंस्करण, एम0एस0एम0ई0 आदि सेक्टर्स पर भी विशेष फोकस करने की आवश्यकता है।
मुख्यमंत्री जी ने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि प्रदेश को वन ट्रिलियन डॉलर इकोनॉमी बनाने के लिए तेजी से आगे बढ़ना होगा। व्यवस्था में पारदर्शिता लाने के लिए ज्यादा से ज्यादा टेक्नोलॉजी का उपयोग करना होगा। किसी भी प्रकार की पेंडेंसी कतई बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उत्तर प्रदेश में एम0एस0एम0ई0 की 96 लाख यूनिट्स का बेस है। प्रदेश को वन ट्रिलियन डॉलर इकोनाॅमी बनाने के लिए एम0एस0एम0ई0 सेक्टर में बड़े स्तर पर योजना बनाने की आवश्यकता है।
मुख्यमंत्री ने निर्माण सेक्टर की समीक्षा करते हुए कहा कि प्रदेश में 54 लाख आवास गरीबों के लिए निर्मित कराए गए हैं। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि जन्म-मृत्यु रजिस्ट्रेशन की तर्ज पर ही प्रत्येक प्रकार के निर्माण कार्यों का रजिस्ट्रेशन अवश्य कराएं। इसके लिए टेक्नोलॉजी का उपयोग किया जाए। शहर और गांवों में होने वाले हर निर्माण कार्य का डेटा हमारे पास होना चाहिए। इस व्यवस्था के साथ पंजीकृत होने वाले निर्माण कार्यों की सुरक्षा को भी सुनिश्चित किया जाए। रजिस्टर्ड निर्माण कार्यों के दौरान या बाद में अगर कोई दुर्घटना होती है तो उसके लिए बीमा की व्यवस्था की जाए। इंफ्रास्ट्रक्चर से जुड़े प्रत्येक निर्माण का रजिस्ट्रेशन होना चाहिए। इससे पारदर्शिता बढ़ेगी। साथ ही यह भी ध्यान रखा जाए कि कोई भी निर्माण कार्य बंजर और अनुपजाऊ भूमि पर ही होना चाहिए। निर्माण कार्य कृषि योग्य भूमि पर न होने पाए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री जी के विजन के अनुरूप उत्तर प्रदेश पहला ऐसा राज्य है जहां जिलों की जी0डी0पी0 को जारी करने का कार्य हुआ है। कोविड कालखण्ड में यह कार्य रुका, जिसे पुनः शुरू कराया जाए। सभी जनपदों के विभिन्न संसाधनों से होने वाले आय-व्यय के डेटा के साथ जिलों के जी0डी0पी0 को प्रकाशित कराया जाए। यह डेटा विभिन्न विश्वविद्यालय को भी स्टडी के लिए भेजा जाए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रत्येक विभाग आय जनरेट करने के लिए अपने संसाधनों का पूरा-पूरा उपयोग करें। व्यापारियों को ट्रांसपेरेंट व्यवस्था देते हुए ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में और अधिक सुधार के प्रयास होने चाहिए। व्यवस्था को इतना पारदर्शी बनाया जाए कि प्रदेश में व्यापार कर रहे और व्यापार करने की इच्छा रखने वाले किसी भी व्यापारी या उद्यमी के मन मे किसी प्रकार का कोई आशंका न रहे।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि तमाम कानूनी बंदिशों को हटाकर ओ0डी0ओ0पी0 को सशक्त किया गया है। जो काम आजादी के बाद होना चाहिए वो काम वर्ष 2017 के बाद शुरू हुआ। आज प्रदेश में पर्यटन उद्योग से लाखों लोग जुड़े हुए हैं। इस सेक्टर में 24 प्रतिशत से ज्यादा का ग्रोथ हुआ है। प्रदेश का कोई ऐसा पर्यटन स्थल नहीं है, जहाँ एक भी होटल, गेस्ट हाउस खाली हो। प्रदेश में आने वाले पर्यटकों का सटीक आकलन करें, इसके लिए मैकेनिज्म को तैयार किया जाए। जरूरत हो तो ए0आई0 टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया जाए।
आगामी सितम्बर में ग्रेटर नोएडा में आयोजित होने जा रहे यू0पी0 इण्टरनेशनल टेªड शो को लेकर मुख्यमंत्री जी ने अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि यू0पी0 ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट की तर्ज पर ही ट्रेड शो का आयोजन बड़े स्तर पर होना चाहिए। इसमें सम्मिलित होने वाले बायर्स और ट्रेडर्स को किसी भी प्रकार की दिक्कत न हो, इसके लिए तैयारियां मुकम्मल कर ली जाएं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उत्तर प्रदेश देश को सबसे अधिक शिक्षक प्रदान करने वाला राज्य रहा है। विद्यालय खोलना हमारे यहाँ पवित्र कार्य माना जाता रहा है। महामना मदन मोहन मालवीय, बाबा राघवदास, महंत दिग्विजयनाथ जैसे महापुरुषों ने शिक्षा को पवित्र कार्य मानते हुए बड़े-बड़े शिक्षण संस्थानों का निर्माण कराया है। प्रदेश को शिक्षा के हब के रूप में स्थापित करना होगा।
इस अवसर पर अधिकारियों ने मुख्यमंत्री जी को अवगत कराया कि प्रदेश के महानगरों को अलग अलग सेक्टर्स के हब के रूप में डेवलप करने की योजना है। इसी क्रम में लखनऊ को देश का पहला ए0आई0 सिटी बनाने की तैयारी है। साथ ही प्रदेश को ग्रीन एनर्जी का हब बनाने को लेकर भी मुख्यमंत्री ने अधिकारियों के साथ विचार-विमर्श किया।
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