यात्रा सुविधा परिवहन निगम ने उपलब्ध करायी थी। इसके लिए परिवहन निगम के बेड़े में 05 हजार नई बसों को उपलब्ध कराया गया था।
      मुख्यमंत्री जी ने कहा कि सदी की सबसे बड़ी महामारी कोरोना से पूरी दुनिया त्रस्त थी। जब 25 मार्च, 2020 को देश में लाॅकडाउन लागू हुआ, तब इस महामारी से बचाव के लिए दिल्ली, पंजाब, महाराष्ट्र सहित देश के अलग-अलग स्थानों से श्रमिक एवं कामगार हजारों की संख्या मे अपने-अपने गांव की ओर चल दिये थे। दिल्ली बाॅर्डर सहित अन्य सीमावर्ती क्षेत्रों में हजारों लोग आ गये थे। उस दौरान त्वरित रूप से परिवहन निगम के वरिष्ठ अधिकारियों की इमरजेन्सी बैठक बुलाकर गाजियाबाद, सहारनपुर, आगरा, झांसी सहित अन्य स्थानों पर, जहां भी प्रवासी कामगार एवं श्रमिक आ रहे थे, वहां पर परिवहन निगम के लगभग 12 से 14 हजार बसों के बेड़े को लगाकर प्रवासी कामगारों तथा श्रमिकों को उनके गांव तक सुरक्षित पहुंचाने का कार्य किया गया।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि परिवहन निगम के कार्मिकों (चालक/परिचालक सहित अन्य कार्मिक) ने पुलिस एवं प्रशासन के साथ मिलकर प्रवासी कामगार व श्रमिकों सहित लगभग 01 करोड़ नागरिकों को उनके गंतव्य तक पहुंचाने में अपना योगदान दिया। लाॅकडाउन के दौरान व्यक्ति अपनी जान बचा रहा था, उस समय परिवहन निगम के कर्मचारी जान जोखिम में डालकर प्रशासन के साथ कदम से कदम मिलाकर कार्य कर रहे थे। लगभग 40 लाख कामगार एवं श्रमिक उत्तर प्रदेश के थे। 60 लाख बिहार, झारखण्ड, पश्चिम बंगाल, उड़ीसा, असम के अथवा उत्तर प्रदेश से होते हुए मध्य प्रदेश, राजस्थान, उत्तराखण्ड जाने वाले नागरिक थे। इन सभी को परिवहन निगम की बसों की सहायता से उनके गंतव्य तक पहुंचाया गया। विश्व ने उनकी सराहना की। इसके साथ ही, कोटा में प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले 15 हजार विद्यार्थियों को परिवहन निगम की 500 बसों को लगाकर सुरक्षित वापस लाया गया। इसमें साढ़े 04 हजार बच्चे उत्तराखण्ड के थे।
     मुख्यमंत्री जी ने कहा कि होली के अवसर पर परिवहन निगम द्वारा एक सौगात दी जा रही है। आज यहां से संचालित परिवहन निगम की नई बसें परिवहन निगम की वर्कशाॅप में ही बनी हैं। प्रदेश सरकार द्वारा परिवहन निगम की पुरानी बसों को स्क्रैप करके नई बसों को खरीदा जा रहा है। वित्तीय वर्ष 2023-24 के बजट में परिवहन निगम के अपने बेड़े में 1,100 नई बसों को जोड़ने के लिए 400 करोड़ रुपये तथा बस स्टेशनों का एयरपोर्ट की तर्ज पर कायाकल्प कराने के लिए 100 करोड़ रुपये का प्राविधान किया गया है। यह धनराशि इसलिए दी गई है ताकि संकट के समय परिवहन निगम नागरिकों के साथ खड़ा रहे।
     मुख्यमंत्री जी ने कहा कि परिवहन निगम का अपना सन्देश है कि संकट के समय हम अपने नागरिकों के साथ है। आपदा बताकर नहीं आती। उसके लिए हमेशा तैयार रहना पड़ता है। परिवहन निगम के पास स्केल व स्किल दोनों हैं। अपने सामथ्र्य का एहसास लोक कल्याण एवं विकास के लिए होना चाहिए। हड़ताल एवं अराजकता पैदा न करते हुए सामान्य नागरिकांे को राहत देने का कार्य करना चाहिए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आज प्रदेश के सभी 75 जनपदों के लिए नई बस सेवा प्रारम्भ की गई है। होली के अवसर पर प्रदेश के नागरिक आसानी से अपने घर जा सकते हैं। होली, दीपावली, विजयदशमी, रामनवमी, महाशिवरात्रि व श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर व्यक्ति अपने घर जाकर अपने सगे सम्बन्धियांे से मिलता है। माताओं एवं बहनों को रक्षा बन्धन के अवसर पर परिवहन निगम ने निःशुल्क यात्रा की सुविधा उपलब्ध करायी थी। इस सुविधा को अनवरत रूप से आगे भी बढ़ाना चाहिए। आप अच्छी सेवा देंगे, तो लोग उसे स्वीकार करेंगे।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश में लगभग 01 लाख राजस्व गांव है। इन सभी राजस्व गांवों को परिवहन निगम द्वारा स्वयं व अनुबन्धित बसों के माध्यम से जोड़ा जाए। साथ ही, प्रदेश के प्रत्येक जनपद, तहसील, विकासखण्ड एवं नगर निकाय को परिवहन निगम की बस सेवा से जोड़ दिया जाए। इसके लिए निर्णय लेकर समयबद्ध ढंग से आगे बढ़ाना होगा। उन्होंने कहा कि हर व्यक्ति अपने गांव से शहर तथा शहर से गांव की ओर आसानी से आ-जा सके, इसके लिए परिवहन निगम को अपनी बस सेवा तैयार करनी चाहिए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि परिवहन निगम पर्यटन एवं राजस्व विभाग से मिलकर अच्छे ढाबे, होटल सहित अन्य बुनियादी सुविधाएं भी उपलब्ध कराएं। लगभग 01 लाख स्थानों पर परिवहन विभाग द्वारा यह बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराने से लाखों नौजवान नौकरी, रोजगार व स्वावलम्बन की ओर अग्रसर होंगे। पी0पी0पी0 मोड पर बस अड्डों को तैयार करने की कार्यवाही को तेजी से आगे बढ़ाना चाहिए। कार्मिकांे को प्रशिक्षित भी किया जाए। चालक एवं परिचालक के मन में बस के प्रति धर्म स्थल जैसा पवित्र भाव होना चाहिए। कार्मिकों के लिए यह आजीविका एवं लोगों की सुरक्षा का आधार है। बस के संचालन के 01 घण्टा पूर्व ही कार्मिकों द्वारा बसों की फिटनेस को चेक किया जाए एवं बस की स्वच्छता का ध्यान रखा जाए। आवश्यकता पड़ने पर किसी भी प्रकार की खराबी की स्थिति में बसों की तत्काल कार्यशाला में मरम्मत की जाए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि नागरिकों की सुरक्षा को ध्यान मंे रखने के साथ ही, चालक एवं परिचालकों की मेडिकल फिटनेस की भी नियमित रूप से व्यवस्था की जाए। इसके लिए स्वास्थ्य विभाग एवं परिवहन विभाग के मध्य एक एम0ओ0यू0 किया जाए। स्वास्थ्य विभाग के अस्पतालों सहित इम्पैनल्ड चिकित्सालयों में नियमित रूप से परिवहन निगम के कर्मियों के हेल्थ चेकअप की व्यवस्था हो। जैसे राही ऐप के माध्यम से बसों में तत्काल बुकिंग की व्यवस्था की गई है, उसी प्रकार कार्मिकों की मेडिकल स्थिति की जानकारी ऐप के माध्यम से तत्काल उपलब्ध हो।
इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री श्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि उत्तर प्रदेश परिवहन निगम आम जनमानस के मन में अपनी भूमिका के कारण गहरी छाप छोड़ने में सफल रहा है। प्रदेश की जनता को उसके गंतव्य स्थल तक सुरक्षित ढंग से पहुंचाने का काम परिवहन निगम द्वारा किया जा रहा है। आज मुख्यमंत्री जी के नेतृत्व में परिवहन विभाग घाटे से उबर कर बेहतर सुविधाएं दे रहा है।
इस अवसर पर परिवहन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री दयाशंकर सिंह ने कहा कि परिवहन निगम को संकट का साथी कहा जाता है। परिवहन निगम प्रदेश की जनता की सेवा में दिन-रात तत्पर है। मुख्यमंत्री जी द्वारा आज होली के अवसर पर प्रत्येक जिले को राजधानी से जोड़ने के लिए राजधानी बस सेवा की शुरूआत की गई है। इसके पूर्व रक्षा बन्धन के अवसर पर 150 बसें दी गई थी। मुख्यमंत्री जी ने राज्य सरकार के अनुपूरक बजट मंे परिवहन निगम के लिए 01 हजार बसों की व्यवस्था की थी। वर्तमान बजट में 01 हजार बसें और दी गई हैं। मुख्यमंत्री जी ने परिवहन निगम में 93 ए0आर0एम0 की नियुक्ति के निर्देश दिए हैं। साथ ही, परिवहन निगम के बकाया 348 करोड़ रुपये की व्यवस्था भी इस बजट मंे की गई है। उन्होंने कहा कि 04 हजार परिचालकांे की भर्ती की प्रक्रिया को भी कार्यान्वित किया जाएगा।
इस अवसर पर प्रमुख सचिव परिवहन श्री एल0 वेंकटेश्वर लू ने मुख्यमंत्री जी के प्रति धन्यवाद ज्ञापित किया। मुख्यमंत्री जी को कपूर की लकड़ी से निर्मित काष्ठ प्रतिमा स्मृति चिन्ह के तौर पर भेंट की गयी।
इस अवसर पर मुख्य सचिव श्री दुर्गा शंकर मिश्र, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री, गृह एवं सूचना श्री संजय प्रसाद, परिवहन निगम के प्रबन्ध निदेशक श्री संजय कुमार, पोस्ट मास्टर जनरल श्री विवेक दक्ष सहित शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
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