भारतीय दिवस गौरव का विषय है , हहर भारतीय को भारतीय होने पर्व गर्व होना चाहिए।
देश की आजादी का इतिहास गांधी के योगदान के बगैर अधूरा ही रह जाता है या यूं कहें कि आजदी के इतिहास को जानने के लिये गांधी के इतिहास को जानना और समझना पड़ेगा, परन्तु एक सत्य ये भी है कि गांधी मूलतः एक प्रवासी भारतीय थे जो साउथ अफ्रीका में एक अच्छा जीवन जी रहे थे।
इसे वतन की मिट्टी से मोहब्बत कहें या लोगों की पीड़ा का अनुभव जो मोहनदास करमचंद गांधी को महात्मा गांधी बना देती है। आज के तारीख में भी लाखों भारतीय दुनियॉ के अनेकों हिस्सो में रह रहे हैं परंतु वहाँ रह कर भी देश की मिट्टी से मोहब्बत उनकी कम नहीं हुई है वे अभी भी भारत और भारतीयों की तरक्की की कामना और प्रयास करते हैं। ऐसे प्रवासी भारतीयों को देश से जोड़ने तथा देश के लिये उनके योगदान हेतु प्रति वर्ष गांधी जी साउथ अफ्रीका से आने के तारीख नौ जनवरी को प्रवासी भारतीय दिवस मनाया जाता । ये सतरहवां प्रवासी भारतीय दिवस है जिसका आयोजन बड़े धूम धाम से लता मंगेशकर, उस्ताद अमीर खान, डॉ आंबेडकर तथा अहिल्याबाई कि स्थली इंदौर में किया जा रहा है।
श्री अवनीश ने बताया कि अनेकों प्रवासी भारतीय जैसे सत्यम नडेला, सुंदर पिचई, कमला हैरिस ,ऋषि सुनक तथा और भी अनेकों लोग आज दुनियॉ में अपने कर्मों के कारण खुद को तथा देश को एक नई पहचान देने में सफल हुए हैं। देश की आर्थिक मज़बूती हो या फिर विदेशो से बेहतर संबंध हर जगह प्रवासी भारतीय बेहतर किरदार अदा कर रहे हैं। हम सभी भारतीयों को प्रवासी भारतीयों को उनके योगदान के लिये सम्मान देना चाहिए जिससे वे खुद को हमसे सदैव जुड़ा हुआ महसूस कर सकें।
उमेश चंद्र तिवारी
हिंदी संवाद न्यूज
उत्तर प्रदेश
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