घटना के 15 दिन बीत जाने के बाद आरोपियों की गिरफ्तारी न होने से ग्रामीणों ने पुलिस पर लगाया गंभीर आरोप आक्रोशित परिजनों ने आरोपियों के गिरफ्तारी की मांग को लेकर शव को उठाने से किया इन्कार
गिरजा शंकर गुप्ता ब्यूरों
अंबेडकरनगर,5 अक्टूबर। आखिरकार गैंगरेप की शिकार पीडिता ने सिस्टम से हार कर बुधवार की सुबह उसने फांसी लगाकर अपनी जीवन समाप्त कर ली। 14 वर्षीय छात्रा का शव बुधवार की सुबह करकट में दुपट्टे के सहारे लटकता पाया गया। बताया जाता हैं कि मृतका के पिता दर्शन के लिए बाहर गए हुए थे, मां व परिवार के लोग घर पर ही थे। पुलिस द्वारा आरोपियों की गिरफ्तारी करने के बजाय उल्टा पीड़िता व उसके परिवार पर दबाव बनाये जानें की चर्चाएं हैं। जिस विद्यालय में छात्रा पढ़ती थी उसी विद्यालय के प्रबंधक का पुत्र और उसके दोस्त बताए जा रहे है जो गैर संप्रदाय के है। घटना की सूचना पर पहुंची पुलिस व परिजनों के बीच नोक झोंक भी हुई। घटना स्थल पर अपर पुलिस अधीक्षक,उपजिलाधिकारी हरि शंकर लाल, क्षेत्राधिकारी देवेंद्र मौर्य, नायब तहसीलदार राज कपूर, के अलावा कई थानों की पुलिस पहुंच गई थी। परिजनों ने आरोपियों की गिरफ्तारी तक शव को वहां से ले जाने से इनकार कर दिया है। गौरतलब है बीते 16 सितंबर को मालीपुर थाना क्षेत्र की कक्षा आठ की एक छात्रा विद्यालय गई थी जहां रहस्यमय परिस्थितियों में अचानक गायब हो गई जिसको परिजनों ने काफी खोजबीन किया परंतु कहीं पता न लगने से आहत होकर परिजनों ने पुलिस को शिकायत पत्र देकर कार्यवाही की मांग की थी।
पुलिस ने आरोपियों के प्रभाव या दबाव में नामजद मुकदमा न लिखकर अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर मामले की इति श्री कर ली थी। मुकदमा दर्ज होने के दो दिन बाद छात्रा अपने घर वापस आ गई छात्रा ने अपहरण कर लखनऊ के एक होटल में दुष्कर्म करने का आरोप लगाया था
परिजनों की सूचना पर पहुंची पुलिस ने छात्रा को थाना ले गई पुलिस ने छात्रा का बयान दर्ज कर लिया, सूत्र बताते हैं कि पीडिता ने बताया था उसका कार से अपहरण कर लखनऊ में ले जाकर किसी होटल में सामूहिक दुष्कर्म करने की बात कही थीं।
पुलिस दुराचार के आरोपियों की गिरफ्तारी करने के बजाय पीड़िता पर ही सुलह समझौता का दबाव बना रही थी। चर्चा है की थाना प्रभारी चंद्रभान यादव ने आरोपियों से लम्बी डील कर मामले को दबाने में लगे थे।
ग्रामीणों के अनुसार मंगलवार को मालीपुर थानाध्यक्ष पीड़िता के घर गए थे पीड़िता ने थानाध्यक्ष से कहा था कि यदि मुझे न्याय नही मिलेगा तो मैं आत्म हत्या कर लूंगी और सुबह ग्रामीणों को यह सूचना भी मिल गई कि न्याय की आस में पीड़िता अपनी जान गवां बैठी, लेकिन वही लोग एक तरफ कह रहें है कि पीड़िता के माता-पिता कही दर्शन के लिए गए थे लोग पीड़िता की हत्या होने की भी आशंका जता रहे है अब तो पोस्टमार्टम रिपोर्ट के आने के बाद ही पता चलेगा कि हत्या है अथवा आत्महत्या है।
जिले के पुलिस अधीक्षक अजीत कुमार सिन्हा ने बताया कि तहरीर के अनुसार मुकदमा दर्ज किया गया था विवेचना में रेप की धारा बढ़ा कर गिरफ्तारी की कार्यवाही चल रही थी। थानाध्यक्ष के लापरवाही पर अजीत कुमार सिन्हा ने कहा कि जांच में दोषी पाए जाने पर कार्यवाही की जाएगी।
समाचार लिखे जाने तक भारी संख्या में पुलिस बल पीड़िता के घर पर मौजूद थी।
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