मुख्यमंत्री द्वारा घोषित किए गए बाढ़ से नुकसान हुई फसल का मुआवजा राशि 1360 रुपए से अधिक करने तथा दो हेक्टेयर से अधिक कृषि भूमि रखने वाले किसानों को भी बाढ़ सहायता मैं सम्मिलित किए जाने की मांग को लेकर लोकतंत्र सेनानी चौधरी इरशाद अहमद गद्दी ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखा है।
चौधरी इरशाद अहमद गद्दी ने कहा कि अब तक कई सरकारें आई और गई परंतु प्रधानमंत्री मोदी व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने वादे के अनुसार सबका साथ सबका विकास के तहत बिना किसी भेदभाव के सभी बाढ़ पीड़ितों को 2448 रुपए की बाढ़ राहत किट वितरित कराई। पूर्व में मां बेटे, बाप बेटे, या बहन जी की सरकारों द्वारा कभी भी बाढ़ में बाढ़ पीड़ितों को इतनी धनराशि की बाढ़ राहत सामग्री नहीं दी गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एवं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस दैवीय आपदा के समय पीड़ितों की हर संभव सहायता की है।
निवेदन व आग्रह के साथ लिखा है कि एक एकड़ खेत में धान की रोपाई में पांच हजार रुपए, जोताई में तीन हजार, सौ से लेकर पांच सौ रुपए तक, धान का बीज एक हजार रुपए, यूरिया खाद एक हजार, शुरुआत में सूखा पड़ने के कारण खेतों की तीन बार सिंचाई में दस हज़ार रुपए, लेवा कराइ व बिया बोवाई पांच सौ रुपए, कुल मिलाकर एक एकड़ खेत में किसानों का 19500 रुपए का लागत लगा है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा किसानों को दैवीय आपदा में एक एकड़ पर 6850 रुपए मुआवजा दिए जाने का आदेश दिया गया है। बाढ़ पीड़ित किसानों के चेहरे पर मुस्कान लाने के लिए मुआवजा राशि 6850 से बढ़ाकर दस हजार रुपए किए जाने, तथा दो हेक्टेयर से अधिक कृषि खाताधारक किसानों को डाटा में फीड कराने की मांग की है।
असगर अली
उतरौला
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