जौनपुर। गांवों में सफाई कर्मियों का पता नहीं, नालियां जाम, लगे हैं कुड़ों के अंबार
जौनपुर। प्रधानों की मिली भगत से सफाई कर्मी बिना काम किए वेतन उठा रहे हैं और इसका खामियाजा ग्रामीणों को गंदगी और बदबू झेलने पर विवष हो रह है। जिले के सभी 21 विकास खण्डों में अधिकांष गांवों में सफाई व्यवस्था ध्वस्त है और प्रधान सफाई कर्मियों से लाभ लेकर उन्हे घर बैठने की छूट दे रही है। इस पर न जनप्रतिनिधि नहीं ध्यान दे रहें हैं और न सम्बन्धित अधिकारी इससे ग्रामीणों में रोष देखा जा रहा है। मीरगंज क्षेत्र के गांवों में सफाई व्यवस्था चाक-चौबंद करने के लिए सफाई कर्मियों की तैनाती की गई है लेकिन जिम्मेदारों की उदासीनता से सफाई व्यवस्था बदाहाल है। गांवों में तैनात सफाई कर्मियों की निगरानी की जिम्मेदारी बीडीओ व एडीओ पंचायत की है। कसेरवां, करियांव व बंधवा बाजार में सफाई कर्मी कभी दिखाई नहीं देते। नियमित सफाई न होने से बरसात में गांव की गलियों, बाजार व सड़कों पर गंदगी का अंबार है। नतीजन गांवों में जगह-जगह कूड़े का ढेर लगा हुआ है। ग्रामीण मुकुंदी सोनी, सुरेश कुमार, हरि यादव, कृपाशंकर यादव, अशोक पाठक, लालजी विश्वकर्मा, मोहनलाल, सभापति समेत अन्य ग्रामीणों ने जिलाधिकारी का ध्यान आकृष्ट कराते हुए उचित कार्रवाई की मांग की है। इनका कहना है कि परिषदीय प्रधानाध्यापक स्वयं के खर्च पर मजदूर लगाकर विद्यालय परिसर की सफाई कराते हैं। इसके बावजूद भी ग्राम प्रधान की तरफ से उनके मस्टररोल पर हस्ताक्षर कर दिया जाता है। एडीओ पंचायत कहते हैं कि सफाई कर्मियों के काम की निगरानी प्रधान की है प्रधान को न आने वाले सफाई कर्मियों की रिपोर्ट देनी चाहिए।
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