बलरामपुर/ दिनांक 09 दिसम्बर, 2021 को शहर के अग्रेंजी माध्यम विद्यालय पॉयनियर पब्लिक स्कूल एण्ड कॉलेज, बलरामपुर में देश के सुरक्षा विभाग के मुख्य विपिन रावत जिन्होनें देश की सेवा में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई उनका एक ‘‘श्रद्धांजलि सभा‘‘ आयोजित किया गया।
इस अवसर पर विद्यालय के प्रबन्ध निदेशक डा0 एम0पी0 तिवारी नें विपिन रावत जी के चित्र पर माल्यार्पण करके मोमबत्ती जलाकर श्रद्धांजलि दी। साथ में उनके जीवन परिचय के बारे में भी बच्चों को अवगत कराया और बताया कि यह देश के पहले सुरक्षा विभाग के मुख्य पदाधिकारी के रूप में कार्यरत थे।
इनके पिता का नाम जनरल लक्ष्मण सिंह रावत तथा पत्नी का नाम श्रीमती मधुरिका रावत था, जिनका कल दिनांक 08 दिसम्बर, 2021 को हेलिकाप्टर क्रेश हो जाने की वजह से निधन हो गया। सर्वप्रथम ये भारत के थल सेना के चीफ थे। तत्पश्चात् उन्हें हाल ही में तीनों सेना का प्रमुख अर्थात चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ के पद पर सुशोभित किया गया था। श्री रावत जी अपने इस काम को बड़े ही लगन व मेहनत के साथ पूरा कर रहे थे। इनको कई प्रकार के पुरूस्कार से भी नवाजा गया था। जिसमें परम विशिष्ट सेवा मेडल और उत्तम युद्ध सेवा मेडल के मुख्य थे।
इस अवसर पर श्रद्धांजलि देते हुए विपिन रावत जी का चित्रांकन किया तथा विद्यालय के दो विद्यार्थी रूद्राक्ष शुक्ला एवं अतुलेश शुक्ला नें श्री विपिन रावत जी का बहुत ही आकर्षक चित्र बनाया जैसे वह अभी बोल पड़ेगें, तथा उनकी याद में उनके जीवन परिचय के बारे में अपना-अपना विचार देते हुए असरफ रजा एवं शिवांगी श्रीवास्तव नें श्रद्धांजलि अर्पित किया।
‘‘श्रद्धांजलि सभा‘‘ के अवसर पर विद्यालय के सह निर्देशक आकाश तिवारी, एवं अध्यक्ष डा0 पी0एन0 तिवारी, कोषाध्यक्ष मीता तिवारी, उपाध्यक्ष शैलेश तिवारी, उप प्रधानाचार्य प्रमोद कुमार श्रीवास्तव, संतोष श्रीवास्तव, शिखा पाण्डेय, राघवेन्द्र त्रिपाठी (एक्टीविटी इंचार्ज), अध्यापकगण अशोक कुमार शुक्ला, ए0के0 तिवारी, टी0एन0 शुक्ल, पूनम चौहान, राजमणि, लता श्रीवास्तव, किरन मिश्रा, नीलम श्रीवास्तव, नेहा श्रीवास्तव, रूबी त्रिपाठी, अर्चना श्रीवास्तव, विश्वनाथ तिवारी, अखिलेश शुक्ला, आरिज रजा अंसारी, कपिल निषाद, विश्वनाथ तिवारी, आकृष्ट शुक्ला, डी0डी0 पाण्डेय, शालिनी शुक्ला, तौफीक अहमद, दुर्गा प्रसाद यादव, आशुतोष मिश्रा, अशोक चौहान (पी0टी0आई0) वली आलम, राजीव श्रीवास्तव एवं मनोज शुक्ला आदि उपस्थित होकर ‘‘श्रद्धांजलि ‘‘ दी गयी।
आनंद मिश्र
बलरामपुर
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