**डॉक्टर ए०के०श्रीवास्तव, अयोध्या ब्यूरो चीफ**
*ट्रेफिक रिपोर्ट के आधार तय होगा शहरी परिवहन का स्वरूप*

*अयोध्या*-रामनगरी के विकास के साथ ही शहर की परिवहन व्यवस्था में सुधार की दिशा में तेजी से कार्य आगे बढ़ रहा है। भविष्य में रामनगरी आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या और उसके अनुरूप यातायात व्यवस्था तैयार करने के लिए कार्ययोजना तैयार की जा रही है।
     नगर निगम की ओर से इस प्रोजेक्ट की जिम्मेदारी राइट्स की परिवहन शाखा को मिली है। राइट्स की महाप्रबंधक सुजाता सावंत की देखरेख में सीनियर डिप्टी जीएम सुदीप गुप्त की टीम रामनगरी के लिए परिवहन की नई रूपरेखा तय कर रही है। जुलाई से लेकर अगस्त तक ट्रैफिक काउंट सर्वे का कार्य पूरा करने के बाद अब संस्था ट्रैफिक रिपोर्ट तैयार करने में लगी है। इस रिपोर्ट को पूर्ण होने में एक महीना लगेगा। रिपोर्ट तैयार होने के बाद विचार-विमर्श के लिए विकास प्राधिकरण के सामने रखी जाएगी।
     शहरी परिवहन के ढांचे को नया स्वरूप देने के लिए भी रामनगरी में कार्य चल रहा है। ट्रैफिक काउंट सर्वे के आधार पर विकास प्राधिकरण क्षेत्र का अध्ययन करने के उपरांत अब उसकी ट्रैफिक रिपोर्ट तैयार की जा रही है। राम मंदिर निर्माण की बेला में ही रामनगरी में श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ने लगी है। आने वाले दिनों में यह संख्या कई गुना बढ़ेगी। ऐसे में शहरी परिवहन के स्वरूप को भी विस्तार दिए जाने की आवश्यकता है। ट्रैफिक सर्वे में रामनगरी के भीड़भाड़ वाले स्थानों सहित कई क्षेत्रों का भ्रमण किया गया। टर्मिनल के लिए गुंजाइश तलाशी गई। ट्रैफिक की ²ष्टि से अधिक दबाव वाले क्षेत्रों में वन-वे आदि को लेकर स्थाई व्यवस्था देखने को मिल सकती है। ट्रैफिक रिपोर्ट में शहर की परिवहन व्यवस्था की मौजूदा तस्वीर के साथ सुधार के बिदु भी शामिल होंगे।
     शहर के चौक, फतेहगंज, रीडगंज, रिकाबगंज व अयोध्या में श्रृंगारहाट से नयाघाट तक का क्षेत्र यातायात के सर्वाधिक दबाव से जूझता है। इस क्षेत्र में लगने वाला जाम अनसुलझी समस्या बन गया है। शहर में ट्रकों के लिए भी कोई टर्मिनल की व्यवस्था नहीं है। ऐसे में हाईवे पर खड़े रहने वाले ट्रक हादसे और जाम की समस्या उत्पन्न करते हैं।

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