बोन मैरो ट्रांसप्लांट (बीएमटी) सेंटर में दूसरा स्टेम सेल प्रत्यारोपण सफलतापूर्वक किया गया। औरंगाबाद (बिहार) निवासी सात साल के बच्चे को इलाज के बाद बुधवार को डिस्चार्ज किया गया। वह ग्रंथि कैंसर से पीड़ित था।
आईएमएस बीएचयू के बाल रोग विभाग के पीडियाट्रिक हिमेटोलॉजी एवं आंकोलॉजी विभाग की देखरेख में चलने वाले ट्रांसप्लांट सेंटर का लोकार्पण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2020 में किया था। शुरुआत में संसाधनों की कमी की वजह से संचालन सुचारु नहीं हो पा रहा था। बाद में धीरे धीरे व्यवस्था मिली तो प्रत्यारोपण शुरू हुआ।बीएमटी की इंचार्ज प्रो. विनीता गुप्ता ने बताया कि बच्चे की कीमोथेरेपी चल रही थी, लेकिन पूरी तरह से सुधार नहीं हुआ। अगस्त के अंतिम सप्ताह में बच्चा भर्ती हुआ और करीब सवा महीने बाद स्टेम सेल प्रत्यारोपण किया गया। पूरी प्रक्रिया में सवा महीने का समय लगता हैइसके पहले जौनपुर निवासी पेट के ट्यूमर से परेशान एक बच्चे का सफल प्रत्यारोपण हो चुका है। बताया कि आने वाले दिनों में ट्रांसप्लांट सेंटर पर रक्त कैंसर, एप्लास्टिक एनीमिया, थैलेसीमिया का प्रत्यारोपण भी किया जाएगा। इससे आम लोगों को बड़ी सुविधा मिलेगी। कम खर्च में बेहतर इलाज मिल सकेगा।
आईएमएस बीएचयू के बाल रोग विभाग के पीडियाट्रिक हिमेटोलॉजी एवं आंकोलॉजी विभाग की देखरेख में चलने वाले ट्रांसप्लांट सेंटर का लोकार्पण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2020 में किया था। शुरुआत में संसाधनों की कमी की वजह से संचालन सुचारु नहीं हो पा रहा था। बाद में धीरे धीरे व्यवस्था मिली तो प्रत्यारोपण शुरू हुआ।बीएमटी की इंचार्ज प्रो. विनीता गुप्ता ने बताया कि बच्चे की कीमोथेरेपी चल रही थी, लेकिन पूरी तरह से सुधार नहीं हुआ। अगस्त के अंतिम सप्ताह में बच्चा भर्ती हुआ और करीब सवा महीने बाद स्टेम सेल प्रत्यारोपण किया गया। पूरी प्रक्रिया में सवा महीने का समय लगता हैइसके पहले जौनपुर निवासी पेट के ट्यूमर से परेशान एक बच्चे का सफल प्रत्यारोपण हो चुका है। बताया कि आने वाले दिनों में ट्रांसप्लांट सेंटर पर रक्त कैंसर, एप्लास्टिक एनीमिया, थैलेसीमिया का प्रत्यारोपण भी किया जाएगा। इससे आम लोगों को बड़ी सुविधा मिलेगी। कम खर्च में बेहतर इलाज मिल सकेगा।
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