अंबेडकरनगरl वैश्विक महामारी कोरोना वायरस का दूसरा चरण जिस तरह से कहर बनकर बरस रही है मानों कि इस धरती से इंसानों को अब निगल ही जाएगी ।लेकिन कोशिशें जारी हैं शासन और प्रशासन अपने-अपने पैंतरे नियम ,कानून , गाइडलाइन, दिशा- निर्देश तमाम कोशिशें करने का प्रयास कर रहे हैं लेकिन सवाल है कि कोरोना वायरस के दूसरे कहर से बचने के लिए आखिरकार पहले से क्यों नहीं उठाए गए सख्त कदम।
दूसरी लहर के आने के बाद भी नहीं देखी गई सतर्कता जो जैसा रहा वो वैसा ही चलता रहा ना ही शासन का कोई खौफ नहीं प्रशासन का कोई खौफ । दैनिक जीवन में रोजाना की तरह सारी क्रियाकलाप जारी रहे मीडिया चीखती रही चिल्लाती रही हर रोज मौत का मंजर सामने आता रहा लोग गुहार लगाते रहे ऐसे ऐसे नजारे आंखों के सामने से गुजरे जो अविश्वसनीय हैं किंतु सत्य हैं लेकिन स्वास्थ्य महकमा अपनी बेहयाई का परिचय देने से नहीं चूक रहा था।
जिला प्रशासन और स्वास्थ्य महकमा इनकी तादाद को ज्यादा बताती तो कभी कम। बड़ी ही शान से कहते थे कि कोरोना मरीजों के संख्या में गिरावट हो रही है। अगर घट रही है तो साहब यह कोरोना संक्रमण क्यों बढ़ रहा है। अब तो चर्चाओं का बाजार गुलजार हैं और सवालों की बौछार है कि स्वास्थ्य महकमा जनता के साथ छलावा कर रही थी अन्यथा ऐसी स्थिति ना आती।
कहीं ना कहीं जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन, स्वास्थ्य महकमा, स्थानीय प्रशासन की घोर लापरवाही के कारण कोरोना संक्रमण का कहर बढ़ता जा रहा है। ताजा मामला जनपद के कटका थाना क्षेत्र के बिलारी गांव क सामने आया है जहां एक ही दिन में 72 कोरोना पाज़िटिव मरीजों के मिलने का दावा किया जा रहा है तो वही सोशल मीडिया पर यह संख्या 35 भी बताई जा रही है। मीडिया कोरोना मरीजों के निश्चित संख्या की पुष्टि नहीं करता है।
किंतु स्पष्ट कुछ भी नहीं है फिलहाल सूचना पर स्थानीय पुलिस प्रशासन और स्वास्थ्य महकमा की टीम पहुंचकर गांव को सील कर दिया है,वही बगल के गांव मद्धूपुर में भी कोरोना वायरस से संक्रमित मरीज पाए गए हैं इस गांव को भी सील कर दिया गया। आखिरकार गांव में इतनी बड़ी तादाद में कोरोना मरीजों के मिलने का कारण क्या हो सकता है जब स्थानीय पुलिस प्रशासन गहरी नींद में सोएगी तो ऐसा ही हो ना कोई हैरतअंगेज नहीं।
बाजारों में लोगों की भीड़ इकट्ठा रहती है। जलालपुर बाजार, कर्बला बाजार, मंगुराडिला, नर्सरी बाजार, किछौछा बाजार, दुबई नगर चौराहा ,बसखारी की गलियों में बेखौफ खुली दुकाने, टांडा के बाजारों में अनियंत्रण, शहजादपुर सब्जी मंडी ऐसे जितने भी बजार हैं किसी एक दो को छोड़ दिया जाए तो हर जगह लोगों का आवागमन, खरीदारी सामान्य दिनों की तरह है, दुकानों के अंदर ग्राहकों को इकट्ठा कर शटर गिराकर बिक्री की जाती है।
बाजारों में खुलेआम मांस, मछलियां, सब्जियों खरीदी-बिक्री निर्धारित समय का उल्लंघन करते हुए की जाती है।कोई सोशल डिस्टेंसिंग नहीं, आधे से अधिक मास्क का प्रयोग ही नहीं करते और तो और सोने पर सुहागा नशेड़ीओ के लिए यह लाकडाउन और कोविड-19 का गाइडलाइन कोई मायने नहीं रखता।
एक लाइन में अगर कहे तो कोरोनावायरस हो या कोविड-19 की गाइडलाइन ऐसे लोगों के लिए कोई मायने नहीं रखता लेकिन जब ऐसे भारी-भरकम संख्या में एक-एक गांव में मरीज मिलने लगेंगे तो बड़ी आसानी से अंदाजा लगाया जा सकता है कि चीन का बुहान होने में अंबेडकरनगर को ज्यादा वक्त नहीं लगेगा।
फिलहाल इस संदर्भ में सीएचसी प्रभारी भियांव डॉ बृजेश ने बताया कि गांव में मिले सभी मरीजों के अंदर कोविड-19 के लक्षण नहीं है फिर भी सभी लोगों का rt-pcr जांच रिपोर्ट पॉजिटिव आई है लेकिन हैरानी और परेशानी की बात है कि शुरुआती लक्षण ना मिलने से पूरा स्वास्थ्य महकमा हैरान है। मुख्य चिकित्सा अधिकारी यदि ऐसे ही गहरी निद्रा में सोते रहे तो वह दिन दूर नहीं होगा जब अंबेडकर नगर चीन का बुहान शहर बन जाएगा।
एक टिप्पणी भेजें
If you have any doubts, please let me know