NCR News: कर्नाटक और तमिलनाडु में कई हेल्थ वर्कर्स बेवजह टीके का तीसरा डाेज लगवा रहे हैं। इसके लिए हेल्थ वर्कर्स अलग फाेन नंबर और पहचान-पत्र के जरिए टीके के लिए पंजीकरण करवा रहे। रिपाेर्टाें के अनुसार, कई हेल्थ वर्कर्स काेविशील्ड के दाे डाेज लगवाने के बावजूद अब कोवैक्सिन का टीका लगवा रहे हैं।उनका मानना है कि काेराेना से बचने के लिए काेवैक्सीन लगवाना जरूरी है। कुछ डाॅक्टर भी इसे सही बता रहे। उनका कहना है, “ये हेल्थ वर्कर्स उन क्षेत्रों में काम करते हैं, जहां वायरल लोड अधिक होता है। अगर कोई स्वास्थ्यकर्मी दूसरा शॉट लेता है तो इसमें गलत क्या है?’यह ट्रेंड सिर्फ कर्नाटक तक ही सीमित नहीं है।तमिलनाडु के शीर्ष वायरोलॉजिस्ट डॉ टी जैकब जॉन ने कहा, कि अलग-अलग टीका लगवाना वैज्ञानिक रूप से ठीक है। तय से ज्यादा डाेज जैसी काेई चीज नहीं है। कोविशील्ड की दो डाेज और कोवैक्सीन की एक खुराक लेने वाले भावनात्मक रूप से अच्छा महसूस करेंगे।कर्नाटक के कोविड तकनीकी सलाहकार समिति के अध्यक्ष डॉ एमके सुदर्शन ने कहा कि हेल्थ वर्कर्स डर और बेहतर सुरक्षा के लिए तीसरा डाेज लगवा रहे हैं। लेकिन जाे हेल्थ वर्कर्स ऐसा कर रहे हैं, वे दूसरे लाेगाें काे टीका लगवाने के अधिकार पर डाका डाल रहे हैं।
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