वाराणसी में हरिश्चंद्र घाट स्थित सीएनजी शवदाह गृह के दोनों चैंबर फिर बंद हो गए हैं। इससे शवों का अंतिम संस्कार कराने में लोगों को मुश्किलें आने लगी हैं। लकड़ी से संस्कार कराने के लिए चार से पांच घंटे इंतजार करना पड़ रहा है। उक्त दोनों चैंबर मरम्मत के लिए शनिवार को भी बंद रहेंगे। उधर महाश्मशान मणिकर्णिका पर भी शवदाह के लिए लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
सीएनजी शवदाह गृह में शुक्रवार को 15 से ज्यादा लोगों ने 500 रुपये की पर्ची कटाई। दोपहर दो बजे तक एक चैंबर में पांच शवों का संस्कार हुआ। फिर अन्य लोगों ने इसी रेट पर लकड़ी से संस्कार कराया। अचानक गैस भर जाने से चैंबर बंद कर दिया गया। जबकि दूसरे चैंबर की तकनीकी गड़बड़ी अब तक दूर नहीं की जा सकी है। नगर निगम के नोडल अधिकारी अजय राम ने बताया कि चैंबर गर्म होने के कारण बंद किया गया है। शनिवार को उनकी मरम्मत कराई जाएगी।
शुक्रवार को घाट पर अफरा-तफरी का माहौल बना हुआ है। संक्रमण के डर से शवयात्री वहां ज्यादा देर तक रूकना नहीं चाह रहे थे। संस्कार में शामिल होने आए अनेकों के करीबी रिश्तेदार थोड़ी देर बाद चले गये। ऐसा भी दिखा कि संस्कार कराने की बारी आई तो शव उठाने के लिए लोग नहीं मिल रहे थे। घाट पर मौजूद कुछ युवाओं ने शव उठाने के लिए चार से पांच हजार रुपये मांगे। मजबूरी में लोगों को देना पड़ा। हरिश्चंद्र घाट पर दबाव को देखते हुए कुछ लोग सामने घाट के मलहिया स्थित अस्थायी घाट चले गए। यहां भी दबाव बढ़ गया है।
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