NCR News:26 जनवरी को दिल्ली में हुई हिंसा और लाल किले में जो कुछ हुआ उसे लेकर आज भी पुलिस पर सवाल उठते हैं, आखिर पुलिस ने उपद्रवियों के खिलाफ सख्ती से क्यों नहीं निपटा। क्या यह सब पुलिस इंटेलिजेंस का फेलियर था। शुक्रवार को दिल्ली पुलिस आयुक्त एसएन श्रीवास्तव ने इन सवालों का जवाब देते हुए फिर दोहराया किसानों ने उनके साथ विश्वासघात किया।ट्रैक्टर रैली की अनुमति देते जो शर्तें तय हुई थीं, उन्हें तोड़ा गया। हिंसा का अंदेशा पहले से था, जो कि सच साबित हुआ। उस दिन पुलिस ने बेहद प्रोफेशनल तरीके से स्थिति को हैंडल किया। हिंसा पुलिस का इंटेलिजेंस फेलियर नहीं था।जय सिंह रोड स्थित पुलिस मुख्यालय में वार्षिक प्रेस वार्ता के दौरान पुलिस आयुक्त एसएन श्रीवास्तव ने साल 2020 में सामने आई चुनौतियों, उपलब्धियों और अपराध के ब्यौरे का लेखा जोखा पेश किया। उन्होंने वर्ष 2019 के मुकाबले पिछले साल लूट और झपटमारी की वारदात को छोड़ अपराध के ग्राफ में कमी आने का दावा किया।

पुलिस आयुक्त एनएन श्रीवास्तव ने कहा पिछला वर्ष बेहद चुनौती पूर्ण रहा। पहले नार्थ ईस्ट दिल्ली में दंगे हुए, फिर कोरोना और लॉकडाउन। पुलिस ने हर स्थिति का सामना बढ़िया ढंग से किया। एक तरफ दंगे में मारे गए लोगों के हत्यारों और दंगाइयों को को पकड़ने की चुनौती थी तो दूसरी तरफ तनावग्रस्त इलाके में कानून व्यवस्था कायम रखने के साथ शांतिपूर्ण माहौल बनाना।इसके बाद कोरोना की वजह से लॉकडाउन का वक्त गया। लोग अपने घरों में कैद हो गए। काम धंधे छूट गए। ऐसे में पुलिस ने लोगों का पेट भरने का भी काम किया। इस बुरे वक्त में पुलिस लोगों के साथ खड़ी रही। ताकि कोई भी भूखा सो सके।

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