*अयोध्या*
          संपत्ति के विवाद में एक संवेदनहीनता का मामला सामने आया है। मवई थाना क्षेत्र के जुनेदपुर गांव में ससुर का शव घर में पड़ा रहा और उनकी बहुएं पैतृक संपत्ति को लेकर आपस में भिड़ गईं। काफी देर तक अंतिम संस्कार बाधित रहा। पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों ने हस्तक्षेप कर विवाद को शांत कराया, जिसके बाद मृतक का अंतिम संस्कार हो सका। पूर्व प्रधान रामबहादुर वर्मा की मृत्यु गुरुवार की सुबह हो गई। रामबहादुर के दो पुत्र रामचंद्र व सुरेंद्र कुमार थे। दोनों की मौत हो चुकी है। ग्रामीणों ने बताया कि रामबहादुर ने अपनी पैतृक जमीन रामचंद्र की पत्नी उषा देवी के नाम वसीयत कर दी है। गुरुवार की सुबह रामबहादुर की मौत हो गई तो सुरेंद्र कुमार की पत्नी किरन कुमारी व उसके पुत्र सूरज व सुधाकर ने हंगामा खड़ा कर दिया। पैतृक संपत्ति में अपने हिस्से की मांग को लेकर अंतिम संस्कार करने से मना कर दिया। वे लोग ग्रामीणों के साथ पुलिस व राजस्व प्रशासन को बुला कर मांग करने लगे कि बड़ी बहू उषा देवी वसीयत की गई जमीन का बयान छोटी बहू के पक्ष करे तब अंतिम संस्कार किया जाएगा। थाना प्रभारी निरीक्षक विश्वनाथ प्रसाद यादव ने मामले से एसडीएम रुदौली विपिन सिंह को अवगत कराया। लेखपाल सौरभ सिंह और विजय कुमार के साथ पहुंचे उपनिरीक्षक कर्मवीर ने दोनों महिलाओं को समझा कर मामला शांत कराया। एसडीएम विपिन सिंह ने बताया कि मामले में दोनो पक्षों को समझाकर अंतिम संस्कार कराया गया है। मृतक ने अपनी संपत्ति की वसीयत अपनी बड़ी बहू उषा देवी के नाम की है, जिसे लेकर छोटी बहू को आपत्ति थी। इस प्रकरण में नियमानुसार विधिक कार्रवाई की जाएगी।_----अयोध्या ब्यूरो चीफ,डा०ए०के०श्रीवास्तव

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