मौसम के मिजाज में बीते तीन दिनों से आए परिवर्तन से लोग खासे परेशान है। कोहरे और बादलों के चलते शनिवार को पूरे दिन लोगों को सूर्य के दर्शन नहीं हुए। सुबह का तापमान गिरकर 14 डिग्री सेंटीग्रेट आ गया। वहीं, दिन का तापमान भी 24 डिग्री सेंटीग्रेट से आगे नहीं बढ़ पाया।। कोहरे व बादलों से पूरे दिन लोग परेशान रहे। ट्रकों और अन्य वाहन चालकों को हेड लाइट के सहारे गंतव्य तक की दूरी तय करनी पड़ी। आलू और मटर की फसलों को क्षति पहुंचने की आशंका जतायी जा रही है। तीन दिनों से मौसम के बिगड़े मिजाज से लोगों को भारी दिक्कत हो रही है। शुक्रवार की रात हल्का बूंदाबांदी से मौसम का न्यूनतम तापमान शनिवार को सुबह गिरकर 14 डिग्री सेंटीग्रेट पहुंच गया। सुबह कोहरे और ठण्ड से लेोग परेशान रहे। कोहरे के चलते रात में ट्रकों का संचालन नहीं हो पा रहा है। ट्रक चालक हाई-वे पर स्थित ढाबा के आसपास ट्रकों को खड़ा कर कोहरा छटने के लिए सुबह का इतंजार करते नजर आए। शनिवार को सुबह कोहरा न छटने पर वाहन चालक हेडलाइट के सहारे गंतव्य की तरफ रवाना हुए। ठण्ड और कोहरे के कारण जिनके घरों में शादी-विवाह थी उन्हें काफी दिक्कत हुई। घर आए मेहमानों के लिए अतिरिक्त बिस्तर का जुगाड़ करना पड़ा। मौसम बिगड़ जाने से बाजारों में भी चहल-पहल कम रही। जिन्हें बहुत जरूरी था वही घरों से बाहर निकले अन्यथा लोग घरों पर ही रहे। ठण्ड से बचाव के लिए लोग ऊनी कपड़ों की खरीदारी में जुटे रहे। बाजारों में ऊनी कपड़ों की डिमाण्ड बढ़ गयी है। गर्म कपड़ा बेंचने वाले दुकानदार मुंहमागा दाम वसूल रहे है। मौसम के बिगड़े मिजाज से आलू और मटर की फसलों को क्षति हो सकती है। साउथ कैंपस के कृषि वैज्ञानिक प्रोफेसर श्रीराम सिंह का कहना है कि किसान इन फसलों को मौसम के प्रकोप से बचाना चाहते है तो मैकोजेब का एक प्रतिशत घोल का छिड़काव करें। इससे दोनों फसलें सुरक्षित रहेगी। साथ ही उत्पादन भी बेहतर होगा। कोहरे के कारण पुरूषोत्तम समेत कई गाड़ियां निर्धारित समय से विलंब से पहुंची। इनमें ब्रह्मपुत्र मेल, कालका मेल, महानन्दा एक्सप्रेस आदि शामिल है। इससे यात्रियों को भी दिक्कत हुई। ठण्ड से ठिठुरते हुए यात्री प्लेटफार्म पर ट्रेन के इंतजार में बैठे रहे।
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