----------------------------------
गैसडी़ बाजार मे मदन लाल जायसवाल के आवास पर आयोजित जयंती कार्यक्रम मे बतौर मुख्य अतिथि श्याम कुमार जायसवाल ने उपस्थित लोगो को संबोधित करते हुए कहा कि
सहस्रार्जुन जायसवाल समाज के कुल देवता है,जो हैहय बंश के थे जायसवाल भी हैहय वंशी क्षत्रिय है। आज उनकी जयंती क्षत्रिय धर्म की रक्षा एवं सामाजिक उत्थान के लिए मनाई जाती है। चंद्रवंशी क्षत्रियों में हैहय वंश सर्वश्रेष्ठ उच्च कुल का क्षत्रिय माना गया है। चन्द्र वंश के महाराजा कृतवीर्य के पुत्र होने के कारण उन्हें कार्तवीर्य-अर्जुन कहा जाता है।महाभारत, वेद ग्रंथों तथा कई पुराणों में सहस्रबाहु की कई कथाएं पाई जाती हैं। पुराणों के अनुसार प्रतिवर्ष सहस्रबाहु जयंती कार्तिक शुक्ल सप्तमी को दीपावली के ठीक बाद मनाई जाती है भागवत पुराण में भगवान विष्णु व लक्ष्मी द्वारा सहस्रबाहु महाराज की उत्पत्ति की जन्मकथा का वर्णन है। उन्होंने भगवान की कठोर तपस्या करके 10 वरदान प्राप्त किए और चक्रवर्ती सम्राट की उपाधि धारण की। वे भगवान विष्णु के 24वें अवतार माने गए हैं।इस अवसर पर प्रेम चंद जायसवाल, राजकुमार जायसवाल,दिनेश जायसवाल, दीपक जायसवाल, संदीप जायसवाल, नंद किशोर जायसवाल, लाल जी जायसवाल, आदि लोगों ने उपस्थिति जायसवाल समाज को संबोधित करते हुए सहस्रबाहु अर्जुन के बारे में लोगों को बताया इस अवसर पर कमलेश जायसवाल , ओम प्रकाश, शिव प्रसाद, बबलू जायसवाल, श्रवण कुमार, शिव कुमार, कुलदीप, प्रभू दयाल जायसवाल, स्वामी दयाल जायसवाल, स्वामी नाथ जायसवाल, दर्जनो जायसवाल परिवार मौजूद रहे।
गैसड़ी
राजेश श्रीवास्तव
एक टिप्पणी भेजें
If you have any doubts, please let me know