उतरौला (बलरामपुर)ठंड शुरू होते ही जंगली जानवरों की रफ्तार तेज हो गई है। जिसके चलते किसानों का नुक़सान होना शुरू हो गया है।
‌किसान ऊंचे दामों पर खाद बीज लाकर परिवार के दो जून की रोटी के लिए खेतों की बुआई करके अच्छी फसल की उम्मीद करते हैं फसल तैयार होने परिवार के लिए कुछ दिन का अनाज पैदा कर लेंगे। परन्तु नीलगाय के आतंक से उनका सपना टूट जाता है। गरीब किसान भूखो मरने के कगार की ओर बढ़ने लगते हैं। इस ओर न तो जिला प्रशासन ध्यान दे रहा है और न ही शासन , जबकि किसान मेहनत मजदूरी करके अपने अलावा दूसरे के पेट भरने का काम करते हैं। सूत्रों की मानें तो इन जंगली जानवरों का झुंड दिन रात किसानों के खेतों में नजर आ रहे हैं।दिन में किसी तरह किसान अपने खेतों की रखवाली कर लेता है परन्तु रात में ठंड के कारण इन जानवरों पर अंकुश नहीं लगा पा रहा है। ठंड के वजह से गरीब किसान घरों में सो जाते हैं और सूनसान पाकर जंगली जानवर किसानों की खड़ी फसलों को नष्ट कर दे रहे हैं। सुबह किसान अपने नष्ट हुए फसल को देखकर अवाक रह जाता है।
असगर अली 
उतरौला 

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