मिर्जापुर। जिला पंचायत सभागार में शुक्रवार को आयोजित रबी गोष्ठी में विभिन्न विकास खंडो से आए किसानों ने अपने-अपने क्षेत्र में खेती और किसानी से जुड़े मुद्दे उठाए। जिलाधिकारी ने समस्याओं को सुनते हुए निस्तारण के लिए मौजूद संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए। इस मौके पर जिलाधिकारी ने जहां खेतो में पराली न जलाने की बात कही तो वहीं मुख्य विकास अधिकारी परंपरागत खेती से हटकर खेती किए जाने बल दिया।
खेतों में फसलों के अवशेष जलाने पर पर्यावरण के साथ ही खेतो को हो रहे नुकसान के बारे कृषि वैज्ञानिको ने भी किसानों को सचेत किया। जिलाधिकारी सुशील कुमार पटेल ने कहा कि यदि किसी किसान के खेत में बहुतायत मात्र में पराली हों तो उसे जलाने के बजाय गोवंश आश्रय के लिए दान करें। इससे जहां पुण्य का काम होगा वहीं जलाने पर खेतों के नुकसान से बचा जा सकता है। डीएम ने कहा पराली दान करने के लिए एकीकृत 05442-256357 संपर्क किया जा सकता है। मुख्य विकास अधिकारी अविनाश सिंह ने कहा जैविक व प्राकृतिक खेती अपनाकर किसान लाभ उठा सकते हैं। उन्होने कहा केले की खेती तरफ ध्यान दें तो अच्छी आमदनी हो सकती है। सीडीओ ने कहा दो गुनी आय बढाने के लिए किसानों को परंपरागत खेती से हटकर कार्य करना होगा। उन्होने कहा प्रतिदिन जिले में हैदराबाद से कम से कम दस ट्रक केले आ रहे हैं। उन्होने कहा जिले में केला हब बनाने का प्रस्ताव चल रहा है। केला हब व ड्रैगन फ्रूट की खेती से अच्छी आमदनी बढ़ाई जा सकती है। रबी गोष्ठी में कृषि उपनिदेशक अशोक उपाध्याय, कृषि वैज्ञानिको ने खेतीबारी को लेकर किसानों को कई टिप्स दिए। इस मौके पर जिला कृषि अधिकारी समेत संबंधित विभाग के अधिकारी उपस्थित रहे।
रबी गोष्ठी: किसानों ने उठाया जर्जर नहरों, धान क्रय का मुद्दा
मिर्जापुर। शुक्रवार को जिला पंचायत सभागार में जिले के विभिन्न विकास खंडो से आए किसानों ने धान क्रय व जर्जर नहरों और माइनरों का मुद्दा उठाया। किसानों ने कहा क्षेत्र में नहरे और माइनरे तो हैं पर सीजन के दौरान पानी के बजाय उनमे धूल उड़ता रहता है। धान क्रय केंद्रो का मुद्दा उठाते हुए पिछले वर्ष की अपेक्षा कम केंद्र बनाए जाने व सत्यापन के नाम पर किए जा रहे शोषण पर रोष जताया।
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-सरकार किसानों की आय दो गुना करने की बात कर रही है। पहले 100 क्विंटल पर सत्यापन कराया जाता रहा अब महज 60 क्विंटल पर ही सत्यापन कराकर किसानों का शोषण किया जा रहा है।-संजय सिंह पटेल, लालगंज।
- पिछले वर्ष की अपेक्षा विभिन्न क्षेत्रो में धान क्रय केंद्रो की संख्या कम निर्धारित किए जाने पर किसानों को अपनी उपज की बिक्री के लिए परेशान होना पड़ रहा है। केंद्र तक उपज न पहुंच पाने से बिचौलिए लाभ उठा रहे हैं।- कंचन सिंह, बंगला देवरिया।
- क्षेत्र में नहरों और माइनरों का जाल तो बिछाया गया है। जिनकी स्थिति ठीक नहीं है। राल्हुपुर, जोगवा माइनर जर्जर अवस्था में हैं। इसकी साफ-सफाई व मरम्मत कराई जानी चाहिए।-अनिल सिंह।
-सिटी विकास खंड में हर्रई माइनर का मुद्दा वर्षो से बना हुआ है। समय-समय पर हुई शिकायत पर इसका मरम्मत तो कराया जाता है पर हालत फिर ज्यों का त्यो बन जाता है। पानी न मिलने से सीजन के दौरान फसले सूख जाती हैं।- श्यामलाल मौर्य, लोहंदीकला।
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रबी गोष्ठी में विभिन्न क्षेत्रों से आए किसानों के शामिल रहे ये रहे मुद्दे
- टेल तक पानी पहुंचाने के लिए नहरो की साफ-सफाई व टूटे फाल की मरम्मत कराने।
- पहाड़ी विकास खंड के अलावा चुनार तहसील के सोनपुर, कोलना, भुईली में धान क्रय केंद्र बढ़ाने।
- राजकीय कृषि बीज गोदामो पर पर्याप्त मात्रा में बीज व कीट नाशक व खरपतवार नाशक दवाएं उपलब्ध कराने।
- रबी फसल बोआई के लिए किसान की ऋण सीमा के अनुसार सहकारी समितियों उर्वरक उपलब्ध कराने।
-पिछले वर्ष रबी सीजन में अतिवृष्टि, ओला वृष्टि में वंचित 20 प्रतिशत वंचित किसानों को फसल बीमा का लाभ दिए जाने।
-छुट्टा पशुओं व घड़रोज के चलते फसलो के हो रहे नुकसानी को देखकर कोई ठोस उपाय किए जाने

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