भीटी अंबेडकर नगर। भाजपा के कद्दावर नेता बाबू रामाशंकर सिंह ने दलित और निषाद को बताया परमाणु बम एक तरफ नेताजी  करने थाने पहुंचते हैं तो वहीं दूसरी तरफ अपना पैर छुआ कर दलित की तरफ से कर रहे हैं खुलेआम पैरवी जब दलित ने पंडित को पंडित वा कहा तो मीडिया के कैमरे को देखकर ब्राम्हण बाद पर लौट आए पहले तो पुलिसकर्मी से ही भीड़ गए और तत्काल प्रभाव से कार्रवाई करने की सलाह दी लेकिन उससे पहले ही कार्रवाई हो चुकी थी इसलिए आनन-फानन में बाबू नेता रमाशंकर सिंह डाउन हो गए उसके बाद पुलिसकर्मियों द्वारा आव भगत किया जाने लगा चाय पानी करने के बाद पुलिस कर्मियों को धमकाते हुए वहां से चल बसे मामला यही नहीं शांत होता कुछ चाटुकार लोग इस मामले को गलत भी कह रहे हैं कि नेताजी बड़े ही अच्छे और ईमानदार हैं थाने में पहुंचकर पैरवी करते हैं और पैरवी भी कैसे करते हैं वह वीडियो में सरेआम दिखाई दे रहा है दो पक्षों को परमाणु बम बना कर देश को बेच रहे हैं एक तरफ दलित पक्ष है तो दूसरी तरफ निषाद पक्ष दलित पक्ष की पैरवी करने आए नेता रमाशंकर सिंह का दलित ने पैर छूकर आशीर्वाद लिया उसके बाद उसका मुकदमा लिखने के लिए पुलिस वालों को बाध्य करने लगे उन्होंने कहा कि पहले मुकदमा दर्ज कीजिए उसके बाद विवेचना होती रहेगी जबकि मामला शराब पीकर दोनों पक्ष वोट घटाने बढ़ाने को लेकर के दोनों पक्षों में मारपीट हुई एक पक्ष छेड़छाड़ का आरोप लगा रहा था तो दूसरा पक्ष मारपीट का पुलिस द्वारा बताया गया कि मामला सिर्फ शराब पीकर के झगड़ा करने का था और प्रार्थना पत्र मिलते ही सिपाही द्वारा कार्रवाई किए जाने की बात कही इससे भी खुश नहीं हुए नेता जी जब उनकी खातिरदारी के लिए चाय मंगवाना पड़ा और पानी पिलाना पड़ा उसके बाद नेताजी का दिमाग कुछ ठंडा हुआ फिर आव भगत करके नेताजी को किसी तरह से थाने से बाहर जाने की उम्मीद जगी तब जाकर के पुलिसकर्मियों के जी में जान आया पहले तो मारपीट करने के इरादे से आए थे लेकिन बाद में किसी तरह से मान मनौवल के बाद ठंडे पड़ते नजर आए पुलिसकर्मियों ने किसी तरह से हाथ जोड़ते हुए उन्हें बाहर निकाला।

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