मिर्जापुर। अहरौरा थाना क्षेत्र के तालर गांव में ओझाई के बहाने ससुर की धारदार हथियार से गैर इरादतन हत्या करने के मामले की सुनवाई करते हुए न्यायालय अर सत्र न्यायाधीश यज्ञेश चंद्र पांडेय की अदालत ने आरोपी दामाद और सह आरोपी को दोषसिद्ध पाए जाने पर 10-10 वर्ष के कैद की सजा सुनाई है। साथ ही 10-10 हजार के अर्थदंड से भी दंडित किया है। अर्थदंड जमा न करने पर छह माह की अतिरिक्त सजा काटने का आदेश दिया।
सोनभद्र के परही गांव निवासी बालकिशुन ने छह जून 2017 को थाने में तहरीर देकर मुकदमा दर्ज कराया। बताया कि पांच जून 2017 को उसके पिता बालकिशुन अपने दामाद कमलेश के साथ ओझा को दिखाने के लिए दीपगर गए थे। वहां से दामाद कमलेश के साथ बाइक से रात नौ बजे दामाद के घर जा रहे थे। दामाद के घर तालर से एक किमी पहले विजलहवा बाबा के मंदिर के पास अज्ञात लोगों ने धारदार हथियार से उसके पिता बालकिशुन की हत्या कर दिया। जीजा वहां से जान बचाकर भागे और गांव में शोर मचाया। गांव वालों के सहयोग से इलाज के लिए पिता बालकिशुन को लोढ़ी राजकीय अस्पताल में भर्ती कराया। इलाज के दौरान पिता की मौत हो गई। पुलिस ने मामले की जांच किया तो जीजा कमलेश और उसके साथी विजय कुमार कोल के खिलाफ गैर इरादतन हत्या का मुकदम दर्ज किया। मामले की विवेचना कर पुलिस ने आरोप पत्र न्यायालय में दाखिल किया। सहायक शासकीय अधिवक्ता राजेश यादव ने न्यायाय में 10 गवाह प्रस्तुत कराया। गवाहों के बयान और पत्रावली पर मिले साक्ष्य के आधार पर अपर सत्र न्यायाधीश यज्ञेश चंद्र पांडेय ने दामाद कमलेश यादव और उसके साथ विजय कुमार कोल को 10-10 वर्ष की सजा सुुनाई। साथ ही 10 हजार के अर्थदंड से दंडित किया।

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