दशकों से देश का
विकास न होने के पीछे प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप में लोगों का बड़ा समूह किसी एक
पार्टी को कारण के रूप में मानता है | शायद यह भी कई वजहों में से एक रहा की
भारतीय जनता पार्टी को पूर्ण बहुमत की सरकार मिली | जिसके पश्चात् लोगों ने
बड़े-बड़े सपने देखने शुरू कर दिये | आज देश के लोग कई वर्गो और विचारधाराओं में
विभक्त होकर सरकार के कार्यो का मुल्यांकन कर रहें है | माननीय प्रधानमंत्री जी के
द्वारा अहमदाबाद से मुम्बई के लिए बुलेट ट्रेन की नीव जापान के प्रधानमंत्री के
साथ मिलकर रखी गयी | कई लोगों का मानना है की यह विकास के लिये आवश्यक है | जबकि
कई लोगों का मानना है की देश के कई कोने में साधारण ट्रेन की संख्या में बढोत्तरी
आवश्यक है या शताब्दी ट्रेन की संख्या में बढोत्तरी कर देने से आम नागरिकों को
सहूलियत मिलती | विश्व की दूसरी बड़ी आबादी, की स्वास्थ्य, शिक्षा, रोजगार, सुरक्षा,
गरीबी, यातायात के साधन की वास्तविक स्थिति क्या है यह कहने की जरूरत नहीं है | बुलेट
ट्रेन की नीव की कुछ तस्वीरें यहाँ साझा करना उचित होगा | लगभग चालीस हजार करोड़ से
अधिक खर्च का अनुमान है |
आदरणीय प्रधानमंत्री और जापान के प्रधानमंत्री के स्वागत में लगी तस्वीर |
आदरणीय प्रधानमंत्री जी जापान के प्रधानमंत्री के साथ बुलेट ट्रेन की समीक्षा करतें हुये |
मंच पर बैठे गणमान्य लोग |
वर्तमान वर्ष के प्रथम
दिन मै वाराणसी शहर की यात्रा पर था वहां मैंने कुछ तस्वीरें अपने कैमरे से लिया
था | यहाँ प्रस्तुत करने के पीछे मुख्य कारण यह है की आप स्वयं मुल्यांकन करें की देश को किस चीज की आवश्यकता प्राथमिकता के तौर पर है और राजनेता सिर्फ चुनाव की तैयारी और लोगों को दिन में सपने दिखने में लगें हुये है | वाराणसी शहर माननीय प्रधान मंत्री जी का चुनावी शहर भी है जहाँ की जनता ने उन्हें सांसद बनाया है | यदि इसका यह हाल है तो बाकि शहरो के बारें में आप स्वयं अनुमान लगा सकते है | मेरा उद्देश्य यहाँ इसे प्रस्तुत करने का मात्र यह है की तनक-भनक और विज्ञापन के योग्य कार्यो की अपेक्षा आम नागरिकों के लिए कार्य किया जाना चाहिये |
वाराणसी शहर को किसी पहचान की आवश्यकता नहीं है दशकों से इस शहर की अलग पहचान रही है | नरेन्द्र मोदी को यहाँ से चुनाव जितने पर थोड़ी ख्याति इस शहर की अवश्य बढ़ी है | शहर गुमनाम है तो सिर्फ विकास में |
आजादी के दशकों बाद भी लोगों की स्थिति के लिये के लिए अकेले मोदी जी जिम्मेदार नहीं हो सकते पर बुलेट ट्रेन की अपेक्षा इनके बारें में भी कुछ रणनीति उन्हें बनानी चाहिये | ये बुलेट ट्रेन इनका उपहास और उपेक्षा कर रहा है |
क्या आपको लगता है की ये चित्र सिर्फ दिखावा है ? तो यकीन मानिये साहब आधी आबादी का सच यही है | अंतर सिर्फ इतना है की ये लोग गली चौराहों पर है बाकि घरों में |
तकनीक की इस दुनियां में कोई स्किल इंडिया कार्यक्रम इनके लिए भी चलना चाहिए जिससे वाराणसी शहर के साथ साथ देश के प्रत्येक कोने से इन लोगों का विकास हो सके | शायद कोई नेता इसे पढ़े तो कुछ करें इतना उम्मीद जरुर किया जा सकता है |
न माँ गंगा का विकास हुआ न माँ गंगा के पुत्र सामान आम जनता का हाँ दिखावा जरुर अपने चरम सीमा पर है | गरीब और गरीब होता चला जा रहा है | नोट बंदी एक नहीं हजार बार कर लो साहब तब भी नेता BMW में चलते थे अब भी चल रहें है |
स्वच्छ भारत, विकसित भारत या बुलेट ट्रेन से देश के लोगों का विकास कहाँ होता है साहब | विकास तो आम जनता के विकास से होता है |
आज भी जहाँ आधी आबादी रिक्शे पर यात्रा को प्राथमिकता दे रही है, भुखमरी, गरीबी स्वास्थ्य की समस्याये अपने चरम पर है वह बुलेट ट्रेन आम जनता के ख्वाबों को जरुर सुहाना बनाएगी |
विश्व में प्रसिद् कशी विश्वनाथ मंदिर आज के दशकों पहले भी संकीर्ण गलियों में छिपा था और गंगा माँ के पुत्र के आने के पश्चात् भी वही पर है | शायद ईश्वर और उनके भक्तों की अपेक्षा बुलेट ट्रेन अधिक आवश्यक है |
देश, प्रदेश, जिला,
तहसील, ब्लाक, विकास खंड, और गाँवो के विकास के लिये यह अति आवश्यक है की वोट की
राजनीति से बाहर आकार आम नागरिकों के लिये जमीनी और अति आवश्यक हितो की पूर्ति
हेतु सशक्त नियम और कानून बना कर उनका पालन सुनिश्चित किया जाय तभी सामूहिक विकास
होगा | कई कारणों में से एक कारण लखनऊ मेट्रो भी रहा है की पार्टी सत्ता में न आ सकी | आज लोग बुलेट ट्रेन का ख्वाब दिखा रहें है | मेरे लिखे लेख से कई लोगों को आपत्ति हो सकती है ऐसे समस्त लोगों से मेरा यही कहना है की "तस्वीरें झूठ नहीं बोलती" यदि आप को अब भी लग रहा है की देश और सरकार की प्राथमिकता बुलेट ट्रेन होनी चाहिए तो अपने आस-पास जरुर मूल्यांकित कर ले सब समझ में आ जायेगा |
कृपया अपने विचारों से जरुर अवगत करायें |
बिल्कुल भी नहीं। अभी पुरानी गाड़ियों व पटरियों को व्यवस्थित करें और गाड़ियों के समय पर तथा सुरक्षित तरीके से पहुँचने की व्यवस्था सुनिश्चित करें। Dr. Yogendra Varun Shankar Tiwari
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