मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने आज यहां अपने सरकारी आवास पर एक उच्चस्तरीय बैठक में चालू वित्तीय वर्ष में कर-करेत्तर राजस्व प्राप्तियों की अद्यतन स्थिति की समीक्षा की। उन्होंने जी0एस0टी0, वैट, आबकारी, स्टाम्प एवं पंजीयन, परिवहन, भू-राजस्व और ऊर्जा में राजस्व संग्रह के लक्ष्य, उसके सापेक्ष प्राप्तियों का विवरण प्राप्त किया और विभागीय अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि नियोजित प्रयासों से प्रदेश के कर-करेत्तर राजस्व संग्रह में सतत वृद्धि हो रही है। वर्तमान वित्तीय वर्ष की प्रथम तिमाही में विविध माध्यमों से अब तक 51 हजार करोड़ रुपये से अधिक राजस्व की प्राप्ति हुई है। इसमें जी0एस0टी0/वैट से लगभग 28 हजार करोड़ रुपये, एक्साइज टैक्स के रूप में 12 हजार करोड़ रुपये, स्टाम्प एवं पंजीयन से 7500 करोड़ रुपये, परिवहन से 03 हजार करोड़ रुपये, ऊर्जा से 733 करोड़ रुपये और भू-राजस्व के रूप में 114 करोड़ रुपये से अधिक का राजस्व संग्रह हुआ है। यह स्थिति संतोषजनक कही जा सकती है। यह जनता से एकत्रित राशि है, जो प्रदेश के विकास, जनता के हित में और लोक कल्याणकारी कार्यों में व्यय होगी।
प्रदेश में अपार सम्भावनाएं हैं। लगातार प्रयासों से आज प्रदेश में 31 लाख से अधिक जी0एस0टी0 पंजीकृत व्यापारी हैं। इस संख्या को और बढ़ाया जाना चाहिए। राजस्व संग्रह बढ़ाने के लिए हमें नए स्रोत भी बनाने चाहिए। नियमों को सरल बनाएं, तकनीक को अपनाएं और रिफॉर्म करें।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि राजस्व की चोरी राष्ट्रीय क्षति है। जी0एस0टी0 की चोरी/अपवंचन की कोशिशों को रोकने के लिए सजगता बढ़ाये जाने की जरूरत है। राज्य कर विभाग की विशेष अनुशासनिक इकाइयों और सचल दल इकाइयों की सक्रियता और बढ़ाये जाने की जरूरत है। यद्यपि हाल के समय में इनकी सजगता से कर चोरी/अपवंचन पर प्रभावी रोक लगाने में सफलता मिली है। इसके बावजूद कार्यशैली को और बेहतर करने की जरूरत है। इनके लिए टारगेट तय करें और प्रदर्शन की रिपोर्ट प्रत्येक माह मुख्यमंत्री कार्यालय को उपलब्ध कराएं।
अवैध मदिरा/कच्ची शराब बनाने और बेचने की गतिविधियों को बंद करने में हमें सफलता मिली है। ऐसी गतिविधियों पर लगातार कार्यवाही जारी रखी जानी चाहिए। दूसरे प्रदेशों से अनधिकृत मदिरा प्रदेश में न आने पाए। इसके लिए हर समय एक्टिव रहना होगा। राजस्व संग्रह लक्ष्य के सापेक्ष आबकारी विभाग द्वारा और बेहतर प्रयास किया जाना अपेक्षित है।
नोएडा/ग्रेटर नोएडा में बिल्डर-बायर्स के बीच समस्याओं का समाधान तेजी के साथ किया जाए। हमें हर एक बायर के हितों की सुरक्षा करनी है। बायर को उसके फ्लैट की रजिस्ट्री समय से मिलनी चाहिए। इसके लिए हर आवश्यक कदम उठाए जाएं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि बिना परमिट/बिना फिटनेस एक भी वाहन सड़क पर नहीं आना चाहिए। इसके लिए सघन चेकिंग करें। जांच की यह कार्यवाही सड़क पर आवागमन बाधित कर नहीं होनी चाहिए। व्यवस्था में बाधक बनने वालों से आर0टी0ओ0 कार्यालयों को मुक्त करें।
इस अवसर पर वित्त मंत्री श्री सुरेश कुमार खन्ना, स्टाम्प तथा न्यायालय शुल्क एवं पंजीयन राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री रवीन्द्र जायसवाल, परिवहन राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री दयाशंकर सिंह तथा अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
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