जौनपुर। युवाओं में रामलीला में अभिनय से चारित्रिक विकास- प्रो.अजय दुबे
जौनपुर। रामलीला के अभिनय से युवाओं का चारित्रिक विकास होता है, वर्तमान परिवेश में भौतिकवादी भावों के बीच में रामलीला का मंचन युवाओं में चारित्रिक विकास का सशक्त माध्यम है। जिसमें युवा अपने को भगवान श्री राम के पदचिन्हों पर चलने के लिए प्रेरित होते रहते हैं। भगवान श्री राम के दिव्य लीलाओं का प्रत्यक्ष अनुभव करके यथार्थ रूप में महसूस करना यह प्रभु की कृपा से ही संभव है और इस अलौकिक घटनाओं का वर्तमान में प्रत्यक्षीकरण करना जगत में सुख शांति और प्रेम का प्रसार करने के लिए रामलीला से बढ़कर और कुछ भी नहीं हो सकता है।
उक्त विचार श्री भगवत लीला धर्म मंडल नेवादा मुरीदपुर( मछली गांव) द्वारा श्री आदर्श रामलीला संघ की प्रस्तुति के उद्घाटन अवसर पर मुख्य अतिथि वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय जौनपुर के शिक्षा संकाय के डीन प्रोफेसर अजय कुमार दुबे ने व्यक्त किया। यह रामलीला विगत कई वर्षों से नित नई ऊंचाइयों को छू रहा है। उद्घाटन के अवसर पर नारद मोह, धनुष यज्ञ परशुराम लक्ष्मण संवाद ,अगले दिन राम वन गमन कैकई मंत्र संवाद केवट संवाद दशरथ मरण और भरत मिलाप सीता हरण राम शबरी संवाद बाली सुग्रीव युद्ध आदि प्रेरक लीला 29 अक्टूबर तक प्रस्तुत किया जाना है तथा पंचम दिवस लंका दहन अशोक वाटिका 30 अक्टूबर को और समापन के दिन रावण अंगद संवाद लक्ष्मण शक्ति सहित विभिन्न घटनाओं का मंचन किया जाएगा।
रामलीला समिति के अध्यक्ष पंडित लाल साहब पाठक, उपाध्यक्ष अच्छे लाल पाठक और रामलीला का निर्देशन कर रहे अनुराग पाठक चिराग, सहनिर्देशक कपिल पाठक, उप प्रबंधक राकेश कुमार पाठक, राम जनक चौरसिया, प्रबंधक पंडित सुरेन्द्र प्रताप मिश्र ,कोषाध्यक्ष अनुभव पाठक जो जीआईसी प्रवक्ता हरदोई में हैं और अवकाश लेकर भी यहां पर आकर के रामलीला में विभिन्न भूमिकाओं का मंचन करते हैं। संरक्षक मंडल में भगवान प्रसाद पाठक, पूर्व प्रधान अशोक कुमार पाठक , राजेश पाठक , राहुल शुक्ला , अजीत पाठक आदि अपने सक्रिय सहभागिता करते हैं और ग्रामीण क्षेत्र के युवाओं में रामलीला को लेकर के विशेष उत्साह बना रहता है और इस रामलीला का समापन 31 अक्टूबर को संपन्न होगा।
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