मुख्यमंत्री ने ‘आजादी के अमृत महोत्सव’ के अन्तर्गत ‘मेरी माटी
मेरा देश’ अमृत कलश यात्रा के राज्य स्तरीय कार्यक्रम को सम्बोधित किया
प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में भारत आज
संकट मोचक के रूप में जाना जा रहा : मुख्यमंत्री
अमृत कलश प्रदेश के सभी 75 जनपदों, 826 विकास खण्डों व 762 नगरीय
निकायों से प्रदेश की राजधानी पहुंचे, इन सभी अमृत कलशों को लेकर
कल कलश यात्री देश की राजधानी दिल्ली के लिए प्रस्थान करेंगे
अमृत कलश यात्रा ने प्रत्येक गांव, विकासखण्ड, नगरीय निकाय में मातृभूमि
के प्रति श्रद्धा, समर्पण व कृतज्ञता का भाव व्यक्त करते हुए एक
ओर माटी को नमन, तो दूसरी ओर वीरों का वन्दन किया
प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में पहली बार पूरा देश राष्ट्रीय
आयोजनों के साथ जुड़कर विभिन्न कार्यक्रमों/अभियानों का हिस्सा बन रहा
आजादी के अमृत महोत्सव कार्यक्रम ने भारत के सभी अमर शहीदों
को स्मरण करने और प्रत्येक गांव, नगर, जनपद में स्मारकों के
सुन्दरीकरण व सुदृढ़ीकरण करने का अवसर प्रदान किया
मुख्यमंत्री ने वीरों, शहीदों व स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के
परिजनों, अमृत कलश यात्रा से जुड़े स्वयंसेवकों को सम्मानित किया
मुख्यमंत्री ने चित्र प्रदर्शनी का अवलोकन किया
लखनऊ : 28 अक्टूबर, 2023
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि भारत आज संकट मोचक के रूप में जाना जा रहा है। दुनिया में जहां कहीं भी संकट आता है, भारत और प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की ओर लोग आशा भरी निगाहों से देखते हैं। लोगों को विश्वास है कि प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में शान्ति, सौहार्द और कल्याण का रास्ता निकलेगा। उस मार्ग को प्रशस्त करने के लिए देश के 142 करोड़ लोग यदि संकल्पित होकर प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में कार्य करना प्रारम्भ करेंगे, तो कोई कारण नहीं आने वाला कल भारत का होगा। वर्ष 2047 में भारत दुनिया की बड़ी ताकत बन करके दुनिया को मार्गदर्शन और नेतृत्व देने की स्थिति में होगा।
मुख्यमंत्री जी आज यहां ‘आजादी के अमृत महोत्सव’ के अन्तर्गत ‘मेरी माटी मेरा देश’ अमृत कलश यात्रा के राज्य स्तरीय कार्यक्रम को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने प्रदेश की राजधानी लखनऊ में अमृत कलश यात्रा से जुड़े सभी स्वयंसेवकों का स्वागत करते हुए कहा कि आज पावन शरद पूर्णिमा और आदिकवि महर्षि वाल्मीकि जी की जयन्ती के अवसर पर यह अमृत कलश प्रदेश के सभी 75 जनपदों, 826 विकास खण्डों व 762 नगरीय निकायों से यहां पर पहुंचे हैं। वसुधा वन्दन अमृत वाटिका में यहां एकत्रित इन सभी अमृत कलशों को लेकर के कल कलश यात्री देश की राजधानी दिल्ली के लिए प्रस्थान करेंगे।
इन अमृत कलशों को हम लोग प्रदेश से पूरी भव्यता, गरिमा, गौरव और अनुशासन के साथ ले करके जाएंगे। अपनी माटी के वंदन के साथ-साथ वीरों के नमन के इन कार्यक्रमों के साथ हम जुड़ेंगे। प्रदेश का योग्य नेतृत्व आप सब के साथ दिल्ली में इस कलश यात्रा के साथ जाकर अपनी गौरवमयी उपस्थिति के माध्यम से उत्तर प्रदेश के इन सभी कार्यक्रमों की वहां उपस्थिति दर्ज कराएगा।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पहली बार पूरा देश राष्ट्रीय आयोजनों के साथ जुड़कर विभिन्न कार्यक्रमों/अभियानों का हिस्सा बन रहा है। इनमें आजादी का अमृत महोत्सव एक महत्वपूर्ण आयोजन रहा है। प्रधानमंत्री जी ने हर घर तिरंगा कार्यक्रम के माध्यम से पूरे देश को आजादी के अमृत महोत्सव कार्यक्रम से जोड़ने की एक अभिनव पहल की। सफलतम आयोजन के साथ देश के हर घर में भारत का तिरंगा आन-बान-शान से लहराता दिखाई दिया।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री जी ने आजादी का अमृत महोत्सव कार्यक्रम की शुरूआत साबरमती नदी के तट पर 12 मार्च, 2021 को की थी। 15 अगस्त, 2023 को उसका एक विराट स्वरूप हम सभी को देखने को मिला। अब गांव-गांव से, प्रत्येक विकासखण्ड से, हर नगरीय निकाय से अमृत कलश में मातृभूमि के प्रति श्रद्धा, समर्पण व कृतज्ञता का भाव व्यक्त करते हुए एक ओर माटी को नमन है, तो दूसरी ओर वीरों का वन्दन है। आजादी के अमृत महोत्सव कार्यक्रम ने भारत के सभी अमर शहीदों को स्मरण करने और प्रत्येक गांव, नगर, जनपद में स्मारकों के सुन्दरीकरण व सुदृढ़ीकरण करने का अवसर प्रदान किया है।
आजादी के अमृत महोत्सव कार्यक्रम के अन्तर्गत हमें अनेक कार्यक्रमों के साथ जुड़ने का अवसर प्राप्त हुआ। विशेष रूप से चौरी-चौरा शताब्दी महोत्सव कार्यक्रम, काकोरी ट्रेन एक्शन कार्यक्रम, बटेश्वर में श्रद्धेय श्री अटल बिहारी वाजपेई जी की पावन जयन्ती के आयोजन से जुड़े कार्यक्रम और अमर शहीदों के साथ उनके स्मारकों को भव्य स्वरूप देने के कार्य हुए हैं। न केवल परम्परागत कार्यक्रमों, कलाकारों के साथ, बल्कि आधुनिकतम तकनीक पर आधारित ड्रोन शो के कार्यक्रमों के साथ भी जुड़ने का अवसर आजादी के अमृत महोत्सव के इन सभी आयोजनों ने हमें दिया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री जी ने हर भारतवासी के सामने पंचप्रण का एक विराट संकल्प दिया है। हम सब आजादी के अमृत महोत्सव के बाद अमृत काल के प्रथम वर्ष में प्रवेश किए हैं। अमृत काल का प्रथम वर्ष कैसे आने वाले समय में आगामी 25 वर्षों की कार्ययोजना को आगे बढ़ाते हुए भारत को दुनिया की एक बड़ी ताकत के रूप में विकसित भारत को स्थापित करने में सफल होगा, उसके लिए प्रधानमंत्री जी ने पंचप्रण तय किए हैं। इसलिए इन संकल्पों के साथ हर भारतीय को जुड़ना होगा।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि इन पंचप्रण को अपने जीवन का हिस्सा बनाते हुए यदि हर भारतवासी आगे बढ़ता है, तो कोई कारण नहीं कि वर्ष 2047 में, जब देश अपनी आजादी का शताब्दी महोत्सव मना रहा होगा, तब 100 वर्षों के कार्यों का एक ऐसा दस्तावेज हमारे सामने होगा और भारत दुनिया की एक बड़ी ताकत होगा। इस बड़ी ताकत के माध्यम से पूरी दुनिया और समस्त मानवता के कल्याण व शांति का एक नया संदेश दिया जाएगा। आज हम उस संकल्प के साथ आगे बढ़ रहे हैं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आजादी के अमृत महोत्सव में हम लोगों ने कुछ नये कार्यक्रमों के साथ नई उपलब्धियां प्राप्त की हैं। भारत ब्रिटेन को पछाड़कर दुनिया की पांचवी बड़ी अर्थव्यवस्था बना। जी-20 समूह की अध्यक्षता करने का अवसर भी भारत को प्राप्त हुआ। प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में दिल्ली में आयोजित जी-20 समिट में दुनिया के 40 देशों के राष्ट्राध्यक्षों की उपस्थिति में भारत की ताकत का एहसास दुनिया ने किया। आज दुनिया का भारत के प्रति नजरिया बदला है।
इससे पूर्व, मुख्यमंत्री जी ने वीरों, शहीदों व स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के परिजनों को सम्मानित किया। उन्होंने अमृत कलश यात्रा से जुड़े कुछ स्वयंसेवकों को भी सम्मानित किया। इसके पूर्व, मुख्यमंत्री जी ने कार्यक्रम स्थल पर आयोजित एक चित्र प्रदर्शनी का अवलोकन किया।
पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री श्री जयवीर सिंह, खेल एवं युवा कल्याण राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री गिरीश चन्द्र यादव तथा विधान परिषद सदस्य श्री भूपेन्द्र सिंह चौधरी ने भी कार्यक्रम को सम्बोधित किया।
इस अवसर पर लखनऊ की महापौर श्रीमती सुषमा खर्कवाल, विधायक डॉ0 नीरज बोरा, श्री अमरेश कुमार, श्रीमती जय देवी, विधान परिषद सदस्य श्री मोहसिन रजा, श्री राम चन्द्र प्रधान, डॉ0 लालजी प्रसाद निर्मल, श्री बुक्कल नवाब, इंजी0 श्री अवनीश कुमार सिंह, मुख्य सचिव श्री दुर्गा शंकर मिश्र, सलाहकार मुख्यमंत्री श्री अवनीश कुमार अवस्थी, प्रमुख सचिव पर्यटन एवं संस्कृति श्री मुकेश कुमार मेश्राम सहित शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
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