सीतापुर -भारतीय किसान यूनियन राष्ट्र शक्ति के मण्डल संयोजक मनोज कुमार राठौर सदस्य स्थाई समिति कामिल अंसारी जिलाध्यक्ष जयमल सिंह ,आदि पदाधिकारीयों ने मख्यमंत्री उत्तर प्रदेश शासन व प्रधान मंत्री भारत सरकार को सम्बोधित ज्ञापन सँयुक्त किसान मोर्चा उत्तर प्रदेश के निर्देश पर कलेक्ट्रेट सीतापुर में अतिरिक्त मजिस्ट्रेट को सौंपा तथा आंदोलन की दी चेतावनी।
सँयुक्त किसान मोर्चा उत्तर प्रदेश के आवाहन पर भरतीय किसान यूनियन राष्ट्र शक्ति ने सांकेतिक धरना प्रदर्शन करके कलेक्ट्रेट में ज्ञापन सौंपा
केंद्र सरकार ने आंदोलित किसानों  के संगठन SKM के साथ 9-10 दिंसबर 2021 को एक समझौता किया था, जिसमें वायदा किया गया था, कि जब भी सरकार बिजली संशोधन बिल संसद में लाएगी , वह किसानों के संगठन (SKM)एव अन्य स्टेकहोल्डस॔ के साथ वाता॔ करेगी, उसके उपरांत बिल पेश करेगी.

जैसी सूचना हमें विभिन्न  तंत्रों के माध्यम से प्राप्त हुई है ,कि सरकार वत॔मान सत्र में यह बिल पेश करने वाली है एव उत्तर प्रदेश में जबरदस्ती किसानों के निजी नलकूपों पर बिजली मीटर लगाये जा रहे है । 
जबकि वत॔मान मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश ने 2022  चुनाव के दौरान किसानों को निशुल्क  सिंचाई हेतु बिजली का वायदा किया था।  केंद्र सरकार द्वारा बिजली संशोधन बिल2022 लाने का कुप्रयास एव उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा किसानों के निजी नलकूपों पर ़जबरदस्ती बिजली मीटर लगाना , किसानों के साथ धोखा है । 

बिजली संशोधन बिल2022 के आने के बाद किसानों को दी जाने वाली बिजली सब्सिडी खत्म हो जाएगी,  9-10 प्रति यूनिट के हिसाब से किसानों को हर महीनें 10,000 रुपये तक का बिजली बिल भुगतान करना पड़ेगां एव़ सरकार द्वारा बिजली बोड॔ का निजीकरण किया जाएगा  । 

जिससे किसानों के लिए खेती करना महंगा सौदा हो जाएगा , बिजली कम॔चारियों की छंटनी बड़ी संख्या में की  जाएगी एव आम जनता भी महंगी बिजली लेने को मजबूर हो जाएंगी ।

सरकार यह बिजली संशोधन बिल 2022 मात्र कुछ कॉरपोरेट घरानों को लाभ पहुंचाने के लिए ला रही है।
  हम SKM उत्तर प्रदेश के किसान संगठन सरकार के इस बिजली संशोधन बिल 2022 लाने के प्रयास एव किसानों के निजी नलकूपों पर जबरदस्ती बिजली मीटर लगाने के काय॔ , राज्य बिजली बोड॔ एव निगमों के निजीकरण का विरोध करते है। 
अतः हम सरकार से मांग करते है कि किसानों के निजी नलकूपों से बिजली मीटर अविलंब हटाया जाए एव़ किसान-बिजली कम॔चारी -जनता विरोधी बिजली संशोधन 2022 को लाने का कुप्रयास ना करें, अन्यथा किसानों के पास  सड़कों पर उतर कर आंदोलन करने के अलावा कोई रास्ता नही बचेगा । इस अवसर पर मो असफाक ,एडवोकेट अशोक कुमार समेत तमाम लोग मौजूद रहे !!

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