गंगा का जलस्तर फिर बढ़ने लगा है। पांच सेंटीमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से गंगा का जलस्तर बढ़ रहा है। चौबीस घंटे में 40 सेंटीमीटर जलस्तर बढ़ने के बाद फिर से बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है। बाढ़ की आशंका से तटवर्ती इलाके में बसे लोगों में बेचैनी बढ़ गई है। बुधवार को शाम चार बजे तक गंगा का जलस्तर 75.15 मीटर पर पहुंच गया था।
बीते रविवार को दोपहर 12 बजे गंगा का जलस्तर 75.24 मीटर दर्ज किया गया था। जो सोमवार को घट कर 74.72 मीटर पर पहुंच गया था। बीते मंगलवार की शाम अचानक फिर से गंगा के जलस्तर में वृद्धि शुरू हो गई। यह क्रम बुधवार को भी जारी रहा। गंगा का पानी धीरे-धीरे तटवर्ती गांवों की ओर बढ़ रहा है। तटवर्ती इलाकों में खेतों में बोई गई अरहर, धान, उड़द, मूंग व तिल्ली की फसल के साथ ही पशु चारा पानी में डूब रहा है। गंगा नदी में बाढ़ की आशंका देखते हुए मड़ई आदि लगाकर रहने वाले लोग सुरक्षित स्थानों की ओर जाने की तैयारी कर रहे हैं। कुछ दिनों पूर्व पानी घटने से लोग राहत में थे। इस बीच फिर से जलस्तर में वृद्धि से लोगों की परेशानी बढ़ गई है। एडीएम शिव प्रताप शुक्ल का कहना है कि जिले में अभी बाढ़ का कोई खतरा नहीं है। गंगा का जलस्तर खतरे के निशान से डेढ़ से दो मीटर नीचे है। बाढ़ चौकियां पहले से मुस्तैद हैं। सदर व चुनार तहसील क्षेत्र में कुल 37 बाढ़ चौकियां स्थापित की गई हैं।
एक टिप्पणी भेजें
If you have any doubts, please let me know