जौनपुर। सावन में शिवलिंग अभिषेक का विशेष महत्व
जौनपुर। सावन का पवित्र महीना चल रहा है और इस पूरे महीने शिवजी की पूजा-आराधना के लिए शिवभक्तों के बीच उत्साह और भक्ति देखने को मिलता है। सावन के पूरे महीने शिवलिंग अभिषेक का विशेष महत्व होता है। यह महीना शिवजी की पूजा के लिए समर्पित होता है। शास्त्रों में बताया गया है कि अन्य दिनों की अपेक्षा सावन माह में शिवलिंग की पूजा और अभिषेक करने से कई गुना फल की प्राप्ति होती है। शिवलिंग पर अभिषेक करने के बाद ही अन्य पूजा विधि शुरू होती है। शिवलिंग पर जल, दूध, दही जैसे कई द्रव्यों से अभिषेक किया जाता है। ज्ञात हो कि शिवलिंग पर कितने तरीकों से अभिषेक होते हैं। शिवलिंग अभिषेक के महत्व और विधि के बारे में शिवपुराण में विस्तारपूर्वक बताया गया है। जानते हैं सावन में शिवलिंग पर किस द्रव्य से अभिषेक किया जाता है और इसके क्या लाभ हैं। महादेव एक लोटा शुद्ध जल से अभिषेक करने पर ही प्रसन्न हो जाते हैं। इसलिए शुद्ध जल से शिवलिंग पर अभिषेक करना सबसे उत्तम माना जाता है, क्योंकि भरपूर जलावृष्टि से भगवान शिव बेहद प्रसन्न होते हैं। शुद्ध जल से शिवलिंग पर अभिषेक करने से व्यक्ति की सारी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। गन्ने से रस से शिवलिंग पर अभिषेक करना उत्तम माना जाता है। ऐसा करने से व्यक्ति को आर्थिक समस्या से छुटकारा मिलता है। सावन महीने में निःसंतान दंपती यदि गाय के दूध से शिवलिंग पर अभिषेक करते हैं तो शिवजी के आशीर्वाद से उन्हें संतान की प्राप्ति होती है। मिश्री या शक्कर मिले दूध से शिवलिंग पर भी अभिषेक करना महत्वपूर्ण माना जाता है। ऐसा करने से व्यक्ति की बुद्धि श्रेष्ठ होती है। सावन माह में शहद से भी शिवलिंग पर अभिषेक करना चाहिए। शिवलिंग पर शहद से अभिषेक करने से व्यक्ति की वाणी में मधुरता आती है और पापों का नाश होता है। शिवलिंग पर घी से अभिषेक करना भी बेहद पुण्यदायी माना जाता है। ऐसा करने से आरोग्य जीवन की प्राप्ति होती है और वंशवृद्धि होती है। शत्रु से छुटकारा पाने के लिए आप सावन के महीने में शिवलिंग पर सरसों के तेल से अभिषेक कर सकते हैं। सावन माह में यदि दही से शिवलिंग पर अभिषेक करते हैं तो इससे मानसिक तनाव दूर होता है और जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।
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