औरैया // ककोर स्थित सहायक संभागीय परिवहन कार्यालय पर दलालों के जमघट से आम लोग परेशान हैं यहाँ वाहनों के पंजीकरण से लाइसेंस बनवाने तक के कार्य दलालों के मर्जी के बिना नहीं होते सीधे पहुंचने पर लिपिक और कर्मचारी तमाम नियम और कानून बताकर चलता कर देते हैं लोगों को मजबूरी में तीन से चार गुने से अधिक रुपये खर्च कर दलालों के सहारे कार्य कराना पड़ रहा है कल सहायक संभागीय परिवहन कार्यालय के गेट से लेकर अफसरों के चेंबर तक दलालों की धमाचौकड़ी और हनक देखने को मिली लाइसेंस, फिटनेस और नए वाहनों के पंजीकरण की तमाम फाइलें दलालों के हाथ में थीं आवेदक उनकी हां में हां मिलाते हुए पीछे-पीछे घूमते नजर आए लर्निंग लाइसेंस की फीस 350 रुपये और स्थायी की 1000 रुपये है, लेकिन इसके लिए दलाल 3500 से 4000 रुपये वसूल रहे हैं। पूछने पर एक दलाल ने लाइसेंस नवीनीकरण का खर्च 2000 रुपये बताया, जबकि सरकारी फीस सिर्फ 200 रुपये है। भारी वाहनों के लर्निंग लाइसेंस 150 रुपये में बनते हैं, जबकि दलाल इसका 1500 वसूल रहे हैं। दलालों की मौजूदगी सहायक संभागीय परिवहन कार्यालय गेट से अधिकारियों के चेंबर तक दिखी सुबह 10 बजे से ही डट जाते हैं दलाल सूत्रों के मुताबिक परिवहन विभाग के अधिकारियों द्वारा गाड़ी का चालान, सीज करने के साथ अन्य मामलों में गई कार्रवाई की सेटिंग सीधे दलालों से रहती है इधर विभाग में सभी काम ऑनलाइन होने के बाद भी हर जगह इनका हस्तक्षेप रहता है यही कारण है कि दफ्तर खुलने और अफसर के पहुंचने के दौरान 10 बजते ही सैकड़ों की संख्या में दलालों का जमघट परिसर के बाहर लग जाता है दलालों ने बाकायदा अपनी दुकानें सजा रखी हैं। पहले ऑनलाइन बुकिंग फिर सौदेबाजी कर काम कराते हैं ARTO परिसर में मौजूद 60 वर्षीय मोतीलाल ने बताया कि कई साल पहले मैजिक गाड़ी खरीदी थी थोड़े दिन बाद इसका संचालन बंद हो गया, लेकिन टैक्स चल रहा है अधिकारी से मिलकर समस्या समाधान कराना चाहते हैं जब वह दफ्तर में अफसर से मिलने गए तो बताया गया कि साहब अभी नहीं हैं बाहर बैठे लोगों से मिल लो, ये लोग काम करा देंगे परिसर में मौजूद संचित ने बताया कि वह लाइसेंस बनवाने आया है पूछने पर बताया कि किसी का इंतजार कर रहे हैं उनके आने के बाद काम कराएंगे कुछ देर बाद वह हाथ में ऑनलाइन स्लाट बुकिंग का कागज लेकर एक दलाल के साथ परीक्षा वाले कक्ष की ओर चला गया यही हाल कई और आवेदकों का भी रहा उनका भी कार्य बिना दलालों के नहीं हुआ परिसर में इस तरह के कार्य हो रहे हैं, उधर ARTO अशोक कुमार का कहना है कि इस तरह के मामले अभी संज्ञान में नहीं थे यदि किसी आवेदक से कोई वसूली हुई है वह हमें लिखित शिकायत दे हम आरोपी के खिलाफ FIR दर्ज करा कर कड़ी कार्रवाई करेंगे कई बार यहाँ DM, ADM द्वारा छापा मारकर बाबु को रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया फिर भी स्थिति जस की तस ही बनी हुई है अभी भी लगातार दलालों का प्रभाव ही हावी है आवेदकों का कहना है कि दलालों को गिरफ्तार कर जेल भेजा जाय और इसमे संलिप्त अधिकारियों एवं बाबुओं के खिलाफ भी कड़ी कार्यवाही की जाय तभी पारदर्शी कार्य सम्पादित हो सकते है अन्यथा आवेदकों के साथ धोखा और लूटमार जारी रहेगी।
औरैया :- ARTO के बाबू और दलाल पूरी तरह आवेदकों पर लूटमारी करने के लिए हावी।
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