बिगत कुछ महीनों के घटनाक्रम के बाद ब्राम्हणों की चर्चा पूरे प्रदेश में हो रही है । कल जारी किए गए एनकाउंटर आँकड़ो के अनुसार 11 ब्राह्मणों को मौत हुई है । पुलस्त तिवारी के ऊपर कार्यवाही के बाद अब संख्या 11 हो गयी है । कई सोशल मीडिया साइट्स पर इस बात की चर्चा जोरों पर है कि क्या सरकार ब्राम्हणों को टारगेट करके कार्यवाही कर रही है ?
ऐसे में भारतीय जनता पार्टी के अंदर से उठ रही आवाजे बड़े संदेह को जन्म दे रही है । वही समाजवादी पार्टी, बहुजनसमाजवादी पार्टी, कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के ब्राम्हणों के समर्थन में उतर चुकी है और कई आरोप सरकार पर लगा रही है ।
आज बीजेपी के लंभुआ विधायक देवमणि द्विवेदी ने सरकार पर एक और जोरदार हमला किया है । 16 माननीयों की लिस्ट उनके मुकदमें के साथ जारी कर अपर मुख्य सचिव गृह से इनके ऊपर लंबित मुकदमो में पिछले तीन सालों की करवाई का ब्यौरा मांगा । हालांकि यह पत्र फर्जी बताया जा रहा है । स्वयं देवमणि द्विवेदी ने इसके बारे में अनिभिज्ञता व्यक्त की है, फिर भी इससे विवाद प्रदेश में और बढ़ गया है साथ ही जो लोग ब्राह्मणों को लक्ष्य करके कार्यवाही का आरोप लगा रहे थे उनकी बातों को बल मिल सकता है ।
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